हरारे:
जिम्बाब्वे के खिलाफ एकतरफा वनडे सीरीज में केवल एक भारतीय बल्लेबाज लोकेश राहुल को चमकने का मौका मिला और इस सलामी बल्लेबाज ने कहा कि वह हमेशा से जानते थे कि उनमें क्रिकेट के हर प्रारूप में अच्छा करने की क्षमता है।
कर्नाटक के इस 24 वर्षीय बल्लेबाज ने सीरीज की तीन पारियों में 196 रन बनाए, जिसमें एक नाबाद शतक और एक अर्धशतक शामिल हैं। उन्हें 'प्लेयर ऑफ द मैच' और 'मैन ऑफ द सीरीज' चुना गया।
राहुल ने बुधवार को जिम्बाब्वे के खिलाफ तीसरे वनडे में 70 गेंद में नाबाद 63 रन बनाए, जिससे भारत ने सीरीज में 3-0 से वाइटवॉश किया। उन्होंने कहा, 'मुझे रॉयल चैलेंजर्स बेंगलौर के लिए खेलने का मौका मिला और फिर भारत के लिए खेलने के लिए बुलावा आया जो हमेशा से सपना रहा। यहां आकर अच्छा प्रदर्शन करना सचमुच सुखद रहा। मैं संतुष्ट हूं।' राहुल ने गेंदबाजों को श्रेय दिया, जिन्होंने सीरीज में शानदार प्रदर्शन किया।
'गेंदबाजों ने हमारा काम आसान कर दिया'
उन्होंने कहा, 'काफी श्रेय हमारे गेंदबाजों को दिया जाना चाहिए, जिन्होंने हमारा काम आसान कर दिया। मैं जानता था कि मैं क्रीज पर जाकर समय लेकर अपने क्रिकेट शॉट खेल सकता हूं।' राहुल ने कहा, 'निश्चित रूप से जब आप अच्छी फॉर्म में हों तो शतक बनाकर आप आसानी से छक्के जड़कर मैच जल्दी से जल्दी खत्म करने की कोशिश कर सकते हो। इसलिए मेरे लिए संयमित बने रहना और अपना नैसर्गिक खेल खेलना एक चुनौती थी। मेरी यही योजना थी और मैं सीरीज में अपनी बल्लेबाजी से खुश हूं।'
राहुल टीम के एकमात्र खिलाड़ी हैं जो अगले महीने भारत की टेस्ट टीम के साथ वेस्टइंडीज का दौरा कर रहे हैं, लेकिन उन्होंने कहा कि वह अभी इसके बारे में नहीं सोच रहे हैं। यह पूछने पर कि यहां के बाद टेस्ट खेलना आसान होगा तो राहुल ने कहा, 'मैं नहीं जानता। जब मैं वहां जाऊंगा और देखूंगा कि गेंद स्विंग कर रही है तो ही मैं जान पाऊंगा। निश्चित रूप से वहां गेंद थोड़ी स्विंग होगी। मैं अभी वेस्टइंडीज के बारे में नहीं सोच रहा हूं।'
'अब दिमाग में टी20 है'
उन्होंने कहा, 'मेरे दिमाग में अब टी20 प्रारूप खेलना है, अगले दो दिन में इसके लिए तैयारी करना और शानदार प्रदर्शन करना है।' जिम्बाब्वे के कप्तान ग्रीम क्रेमर ने कहा कि बल्लेबाजों द्वारा स्ट्राइक रोटेट करने की असफलता से उनकी टीम अच्छा स्कोर नहीं बना सकी। उन्होंने कहा, 'हम नई गेंद से 260-270 रन का स्कोर नहीं बना सके जो हमने सोचा था। हम मध्य में अटक गए और पकड़ गंवा बैठे। हम स्ट्राइक रोटेट नहीं कर सके, जिससे हमारे बल्लेबाज दबाव में आ गए।'
स्पिनर युजवेंद्र चहल ने सीरीज में छह विकेट चटकाए, उन्होंने कहा, 'शुरू में थोड़ा दबाव था लेकिन इसके बाद चीजें ठीक हो गईं। विकेट थोड़ा धीमा था और आउटफील्ड बड़ी थी, इसलिए इससे मदद मिली।'
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है)
कर्नाटक के इस 24 वर्षीय बल्लेबाज ने सीरीज की तीन पारियों में 196 रन बनाए, जिसमें एक नाबाद शतक और एक अर्धशतक शामिल हैं। उन्हें 'प्लेयर ऑफ द मैच' और 'मैन ऑफ द सीरीज' चुना गया।
राहुल ने बुधवार को जिम्बाब्वे के खिलाफ तीसरे वनडे में 70 गेंद में नाबाद 63 रन बनाए, जिससे भारत ने सीरीज में 3-0 से वाइटवॉश किया। उन्होंने कहा, 'मुझे रॉयल चैलेंजर्स बेंगलौर के लिए खेलने का मौका मिला और फिर भारत के लिए खेलने के लिए बुलावा आया जो हमेशा से सपना रहा। यहां आकर अच्छा प्रदर्शन करना सचमुच सुखद रहा। मैं संतुष्ट हूं।' राहुल ने गेंदबाजों को श्रेय दिया, जिन्होंने सीरीज में शानदार प्रदर्शन किया।
'गेंदबाजों ने हमारा काम आसान कर दिया'
उन्होंने कहा, 'काफी श्रेय हमारे गेंदबाजों को दिया जाना चाहिए, जिन्होंने हमारा काम आसान कर दिया। मैं जानता था कि मैं क्रीज पर जाकर समय लेकर अपने क्रिकेट शॉट खेल सकता हूं।' राहुल ने कहा, 'निश्चित रूप से जब आप अच्छी फॉर्म में हों तो शतक बनाकर आप आसानी से छक्के जड़कर मैच जल्दी से जल्दी खत्म करने की कोशिश कर सकते हो। इसलिए मेरे लिए संयमित बने रहना और अपना नैसर्गिक खेल खेलना एक चुनौती थी। मेरी यही योजना थी और मैं सीरीज में अपनी बल्लेबाजी से खुश हूं।'
राहुल टीम के एकमात्र खिलाड़ी हैं जो अगले महीने भारत की टेस्ट टीम के साथ वेस्टइंडीज का दौरा कर रहे हैं, लेकिन उन्होंने कहा कि वह अभी इसके बारे में नहीं सोच रहे हैं। यह पूछने पर कि यहां के बाद टेस्ट खेलना आसान होगा तो राहुल ने कहा, 'मैं नहीं जानता। जब मैं वहां जाऊंगा और देखूंगा कि गेंद स्विंग कर रही है तो ही मैं जान पाऊंगा। निश्चित रूप से वहां गेंद थोड़ी स्विंग होगी। मैं अभी वेस्टइंडीज के बारे में नहीं सोच रहा हूं।'
'अब दिमाग में टी20 है'
उन्होंने कहा, 'मेरे दिमाग में अब टी20 प्रारूप खेलना है, अगले दो दिन में इसके लिए तैयारी करना और शानदार प्रदर्शन करना है।' जिम्बाब्वे के कप्तान ग्रीम क्रेमर ने कहा कि बल्लेबाजों द्वारा स्ट्राइक रोटेट करने की असफलता से उनकी टीम अच्छा स्कोर नहीं बना सकी। उन्होंने कहा, 'हम नई गेंद से 260-270 रन का स्कोर नहीं बना सके जो हमने सोचा था। हम मध्य में अटक गए और पकड़ गंवा बैठे। हम स्ट्राइक रोटेट नहीं कर सके, जिससे हमारे बल्लेबाज दबाव में आ गए।'
स्पिनर युजवेंद्र चहल ने सीरीज में छह विकेट चटकाए, उन्होंने कहा, 'शुरू में थोड़ा दबाव था लेकिन इसके बाद चीजें ठीक हो गईं। विकेट थोड़ा धीमा था और आउटफील्ड बड़ी थी, इसलिए इससे मदद मिली।'
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है)
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