नई दिल्ली:
दुनिया के बेहतरीन क्रिकेटरों में शुमार किए जाने वाले, और भारत में 'क्रिकेट का भगवान' कहे जाने वाले मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर ने देश की संसद के उच्च सदन राज्यसभा में उन्हें मनोनीत किए जाने पर कहा है कि यह निश्चित रूप से एक बड़ा सम्मान है, परन्तु वह राजनेता नहीं, खिलाड़ी ही हैं, और हमेशा खिलाड़ी ही रहेंगे।
राज्यसभा में मनोनयन के बाद पुणे में एक कायर्क्रम के दौरान पहली बार प्रेस से बातचीत के दौरान इस बारे में सवाल किए जाने पर सचिन ने कहा कि वह हमेशा क्रिकेट खेलते रहेंगे, क्योंकि क्रिकेट ही उनकी ज़िन्दगी है, और वह राजनेता कतई नहीं हैं।
यह पूछे जाने पर कि यदि आप स्वयं को राजनेता नहीं मानते तो आपने इस प्रस्ताव को ठुकराया क्यों नहीं, सचिन ने कहा कि राज्यसभा के लिए मनोनयन महामहिम राष्ट्रपति की ओर से किया जाता है, सो, ऐसे में इस पेशकश को नहीं मानने का कोई सवाल ही नहीं उठता है।
राज्यसभा में मनोनयन के बाद पुणे में एक कायर्क्रम के दौरान पहली बार प्रेस से बातचीत के दौरान इस बारे में सवाल किए जाने पर सचिन ने कहा कि वह हमेशा क्रिकेट खेलते रहेंगे, क्योंकि क्रिकेट ही उनकी ज़िन्दगी है, और वह राजनेता कतई नहीं हैं।
यह पूछे जाने पर कि यदि आप स्वयं को राजनेता नहीं मानते तो आपने इस प्रस्ताव को ठुकराया क्यों नहीं, सचिन ने कहा कि राज्यसभा के लिए मनोनयन महामहिम राष्ट्रपति की ओर से किया जाता है, सो, ऐसे में इस पेशकश को नहीं मानने का कोई सवाल ही नहीं उठता है।
NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं