भारतीय सुप्रीम कोर्ट (फाइल फोटो)
मुंबई:
सुप्रीम कोर्ट से फैसले की गाज भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड के साथ राज्य क्रिकेट संघों पर भी गिरी है, सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं महाराष्ट्र और गुजरात जो अपने एक से ज्यादा वोटों के बूते दशकों से भारतीय क्रिकेट के प्रशासन में दबदबा बनाए हुए थे।
लोढा कमेटी के फैसले पर सुप्रीम कोर्ट की मुहर के बाद मुंबई क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष 75 साल के शरद पवार, सौराष्ट्र क्रिकेट संघ के सर्वेसर्वा 72 साल के निरंजन शाह, तमिलनाडु क्रिकेट असोसिएशन के अध्यक्ष 71 साल के एन श्रीनिवासन, देश में और अपने राज्य में क्रिकेट चलाने के लिए इन क्षेत्रीय क्षत्रपों को सुप्रीम कोर्ट ने आउट करार दिया है।
यही नहीं महाराष्ट्र और गुजरात क्रिकेट संघों को एक वोट तक सीमित कर सर्वोच्च अदालत ने उनके कद को भी कम दिया है। इस फैसले के बाद मुंबई क्रिकेट असोसिएशन के संयुक्त सचिव उन्मेश खानविलकर ने कहा, 'हमने रविवार को मैनेजिंग कमेटी की बैठक बुलाई है ये देखने के लिए कि हमारे पास क्या विकल्प हैं। एमसीए 70 साल के अधिकतक आयु सीमा की वजह से इस फैसले से सीधा प्रभावित हो रहा है।'
भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड के पास इस मामले में अब ज्यादा विकल्प नहीं हैं, इसलिए उसकी प्रतिक्रिया भी बेहद नपीतुली है। बोर्ड के सीईओ राहुल जौहरी ने कहा हम सुप्रीम कोर्ट के फैसले का सम्मान करते हैं, हम आदेश को पढ़ रहे हैं फिलहाल इस स्थिति में नहीं हैं कि विशेष रूप से किसी एक सुझाव पर टिप्पणी करें।
सुप्रीम कोर्ट ने सुधारों को लागू करने के लिए बीसीसीआई को 6 महीने का वक्त दिया है, लेकिन ज्यादातर राज्य क्रिकेट संघों को लगता है कि आदेश का पालन करने में उन्हें इससे ज्यादा वक्त लग सकता है।
लोढा कमेटी के फैसले पर सुप्रीम कोर्ट की मुहर के बाद मुंबई क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष 75 साल के शरद पवार, सौराष्ट्र क्रिकेट संघ के सर्वेसर्वा 72 साल के निरंजन शाह, तमिलनाडु क्रिकेट असोसिएशन के अध्यक्ष 71 साल के एन श्रीनिवासन, देश में और अपने राज्य में क्रिकेट चलाने के लिए इन क्षेत्रीय क्षत्रपों को सुप्रीम कोर्ट ने आउट करार दिया है।
यही नहीं महाराष्ट्र और गुजरात क्रिकेट संघों को एक वोट तक सीमित कर सर्वोच्च अदालत ने उनके कद को भी कम दिया है। इस फैसले के बाद मुंबई क्रिकेट असोसिएशन के संयुक्त सचिव उन्मेश खानविलकर ने कहा, 'हमने रविवार को मैनेजिंग कमेटी की बैठक बुलाई है ये देखने के लिए कि हमारे पास क्या विकल्प हैं। एमसीए 70 साल के अधिकतक आयु सीमा की वजह से इस फैसले से सीधा प्रभावित हो रहा है।'
भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड के पास इस मामले में अब ज्यादा विकल्प नहीं हैं, इसलिए उसकी प्रतिक्रिया भी बेहद नपीतुली है। बोर्ड के सीईओ राहुल जौहरी ने कहा हम सुप्रीम कोर्ट के फैसले का सम्मान करते हैं, हम आदेश को पढ़ रहे हैं फिलहाल इस स्थिति में नहीं हैं कि विशेष रूप से किसी एक सुझाव पर टिप्पणी करें।
सुप्रीम कोर्ट ने सुधारों को लागू करने के लिए बीसीसीआई को 6 महीने का वक्त दिया है, लेकिन ज्यादातर राज्य क्रिकेट संघों को लगता है कि आदेश का पालन करने में उन्हें इससे ज्यादा वक्त लग सकता है।
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