
भारत के पूर्व ऑलराउंडर अजय जडेजा
टीम इंडिया को ऑस्ट्रेलिया के हाथों वनडे सीरीज 2-1 से गंवाए हुए दो-तीन दिन हो गए हैं, लेकिन करोड़ों भारतीय प्रशंसकों की इससे ज्यादा चिंता और चर्चा सूर्यकुमार यादव (suryakumar Yadav) को लेकर हो रही है, जो वनडे सीरीज के तीनों मुकाबलों में लगातार शून्य पर आउट हुए. टी20 फौरमेट में दुनिया के नंबर बल्लेबाज के इस हश्र पर जहां गावस्कर और रोहित ने "कुछ नहीं" कहकर मुद्दे से पिंड छुड़ा लिया, लेकिन यह बात फैंस और कुछ पूर्व दिग्गजों के दिल पर लगी है. अब जब भारत में ही विश्व कप के आयोजन में कुछ ही महीने बचे हैं, तो कुछ पूर्व क्रिकेटरों वनडे टीम में उनकी जगह पर भी सवाल उठाना शुरू कर दिए हैं. बहरहाल, पूर्व ऑलराउंडर अजय जडेजा ने यादव को आखिरी वनडे में नंबर सात पर खिलाने के मैनेजमेंट के फैसले को ब्लंडर (बड़ी गलती) करार दिया.
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एक वेबसाइट से बातचीत में सूर्यकुमार ने कहा कि यह वही सूर्यकुमार यादव हैं, जिन्होंने मैदान पर 360 डिग्री क्षेत्र में रन बनाए हैं. इसलिए ऐसा नहीं है कि मानो उन्हें खेलना नहीं आता. कुल मिलाकर बात मनोदशा की है. जब विराट कोहली जैसा दिग्गज इतने महीने आउट ऑफ फॉर्म रहा है, तो इसका मतलब यह कि बल्लेबाज के दिमाग में कुछ होता है, जो उसके खेल पर असर डालता है.
जड्डू ने कहा कि अगर आप बहुत ज्यादा सोचते हैं. और अगर आप बल्लेबाज को उसकी बैटिंग के लिए इंतजार करा रहे हैं, तो इससे संदेह और बढ़ता ही है. उन्होंने सुझाव देते हुए कहा कि बल्लेबाज को अपना भरोसा फिर से हासिल करने के लिए और ज्यादा गेंद खेलने की जरूरत होती है. हमारे दिनों में यह कहा जाता था कि अगर कोई बल्लेबाज फॉर्म में नहीं है और अगर वह नंबर चार पर खेलता है, तो आप उसे नंबर सात पर भेजते हैं, तो उसके लिए हालात और चुनौतीपूर्ण हो जाएंगे. आप तब हमेशा ज्यादा विश्वस्त महसूस करेंगे, जब आप ऊपरी क्रम पर बैटिंग करते हैं.
जडेजा बोले कि आपकी बैटिंग की ताकत कुछ भी हो, लेकिन जब आप नंबर सात पर बैटिंग करने के लिए आते हैं, तो आप अपनी बैटिंग का 60-80 प्रतिशत पहले ही खो देते हैं. आपने मुद्दे को कोई आसान नहीं बनाया. जब तभी फॉर्म हासिल कर सकते हैं, जब आप ऊपर खेलते हैं. अगर आप किसी को बचाने की कोशिश करते हैं, तो खेल आपको और नुकसान ही पहुंचाएगा.
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