गुड़गांव:
नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो ने गुड़गांव से एक बड़े दवा माफिया को गिरफ्तार किया है. आरोपी अपनी एक कंपनी के जरिये अवैध तरीके से पेन किलर और नशीली दवाएं कई देशों को भेज रहा था. कंपनी का सालाना टर्नओवर 10 करोड़ से ज्यादा था. गुड़गांव के पॉश इलाके सेक्टर 49 में आईटी स्पेस पार्क के अंदर जटक सॉफ्टेक नाम की कंपनी को सॉफ्टवेयर कंपनी बताया गया था लेकिन असल में यहां से पेन किलर और नशीली दवाओं की खरीद फरोख्त का अवैध कारोबार होता था. कंपनी के अंदर एक बड़ा कॉल सेंटर है जिसमें 50 से ज्यादा लोग काम करते हैं. कॉल सेंटर ही नहीं इस कंपनी की 57 अलग अलग वेबसाइट हैं जिनके जरिये दुनिया भर में ग्राहकों से संपर्क किया जाता था.
असल में इस कंपनी का नाम है फार्मा ग्लो. एनसीबी के मुताबिक इन कंपनियों का मालिक है अमित शर्मा और उसकी पत्नी अर्चना शर्मा. अमित कभी दवा कंपनी में काम करता था, वहीं से उसके दिमाग में इस काम का आईडिया आया.
अमित 2014 से कई तरह के पेन किलर और नशीली दवाओं को बाजार से खरीदता था. फिर उनकी पैकिंग बदलकर हर्बल प्रोडक्ट लिखे पैक में रख देता था. उसके बाद ऑनलाइन ग्राहक तलाशकर कूरियर के जरिये अमेरिका और यूरोप के कई देशों में भेजता था. वहां नशे के आदी लोग ये दवाएं लेते थे. दवाएं उसकी कंपनी फार्मा ग्लो के नाम से जाती थीं जबकि पैसा उसकी फर्ज़ी सॉफ्टवेयर कंपनी के अकाउंट में आता था. अमेरिका में कारोबार संभालने के लिए उसका का साथी भी है.
एनसीबी के मुताबिक अमित के गुड़गांव में कई घर और ऑफिस हैं, उसकी 25 करोड़ की संपत्ति का पता चला है. उसकी कंपनी का टर्नओवर 10 करोड़ से ऊपर था. एनसीबी का कहना है कि ये एक नया ट्रेंड है जिसके तहत लोग नशा करने के लिए पारंपरिक नशीले पदार्थों की बजाय पेन किलर और नशीली दवाइयों का इस्तेमाल कर रहे हैं. एनसीबी ने अमित के ठिकानों से पेन किलर और नशीली दवाइयों के 22410 टैबलेट बरामद किए हैं.
असल में इस कंपनी का नाम है फार्मा ग्लो. एनसीबी के मुताबिक इन कंपनियों का मालिक है अमित शर्मा और उसकी पत्नी अर्चना शर्मा. अमित कभी दवा कंपनी में काम करता था, वहीं से उसके दिमाग में इस काम का आईडिया आया.
अमित 2014 से कई तरह के पेन किलर और नशीली दवाओं को बाजार से खरीदता था. फिर उनकी पैकिंग बदलकर हर्बल प्रोडक्ट लिखे पैक में रख देता था. उसके बाद ऑनलाइन ग्राहक तलाशकर कूरियर के जरिये अमेरिका और यूरोप के कई देशों में भेजता था. वहां नशे के आदी लोग ये दवाएं लेते थे. दवाएं उसकी कंपनी फार्मा ग्लो के नाम से जाती थीं जबकि पैसा उसकी फर्ज़ी सॉफ्टवेयर कंपनी के अकाउंट में आता था. अमेरिका में कारोबार संभालने के लिए उसका का साथी भी है.
एनसीबी के मुताबिक अमित के गुड़गांव में कई घर और ऑफिस हैं, उसकी 25 करोड़ की संपत्ति का पता चला है. उसकी कंपनी का टर्नओवर 10 करोड़ से ऊपर था. एनसीबी का कहना है कि ये एक नया ट्रेंड है जिसके तहत लोग नशा करने के लिए पारंपरिक नशीले पदार्थों की बजाय पेन किलर और नशीली दवाइयों का इस्तेमाल कर रहे हैं. एनसीबी ने अमित के ठिकानों से पेन किलर और नशीली दवाइयों के 22410 टैबलेट बरामद किए हैं.
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