वाशिंगटन:
तिब्बतियों के आत्मदाह की घटनाओं में कोई कमी नहीं आती देख अमेरिका ने चीन से कहा है कि वह तिब्बत में मानवाधिकारों के उल्लंघन के मुद्दे का समाधान करे।
विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता विक्टोरिया नुलैंड ने शुक्रवार को बताया, ‘‘हम तिब्बत और पूरे चीन में मानवाधिकारों की स्थिति में सुधार चाहते हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हम दशकों से तिब्बत में मानवाधिकारों के लिए हमारी प्रतिबद्धता स्पष्ट करते रहे हैं। हम चाहते हैं कि चीन वहां की समस्याओं पर ध्यान दे, जिनमें तिब्बत के लोगों की संस्कृति और भाषाई पहचान को खतरा शामिल है। हमें इस बात से बहुत दुखी हैं कि लोग किस हद तक हताश होंगे कि उन्हें आत्मदाह ही अंतिम रास्ता लगता है।’’
नुलैंड ने कहा कि अमेरिका लगातार तिब्बतियों के आत्मदाह की घटनाओं के बारे में अपनी चिंता चीनी अधिकारियों के सामने उठाता रहा है।
चीन द्वारा मानवाधिकारों के उल्लंघन के विरोध में दो तिब्बती नागरिकों के आत्मदाह के बारे में पूछे जाने पर नुलैंड ने जवाब दिया, ‘‘हम चीन को तिब्बत के अधिकारियों के साथ मिलकर काम करने के लिए प्रोत्साहित करते हैं ताकि लोगों के दुखों का निवारण हो और उनके देश की सांस्कृतिक विविधता की रक्षा हो सके।’’
विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता विक्टोरिया नुलैंड ने शुक्रवार को बताया, ‘‘हम तिब्बत और पूरे चीन में मानवाधिकारों की स्थिति में सुधार चाहते हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हम दशकों से तिब्बत में मानवाधिकारों के लिए हमारी प्रतिबद्धता स्पष्ट करते रहे हैं। हम चाहते हैं कि चीन वहां की समस्याओं पर ध्यान दे, जिनमें तिब्बत के लोगों की संस्कृति और भाषाई पहचान को खतरा शामिल है। हमें इस बात से बहुत दुखी हैं कि लोग किस हद तक हताश होंगे कि उन्हें आत्मदाह ही अंतिम रास्ता लगता है।’’
नुलैंड ने कहा कि अमेरिका लगातार तिब्बतियों के आत्मदाह की घटनाओं के बारे में अपनी चिंता चीनी अधिकारियों के सामने उठाता रहा है।
चीन द्वारा मानवाधिकारों के उल्लंघन के विरोध में दो तिब्बती नागरिकों के आत्मदाह के बारे में पूछे जाने पर नुलैंड ने जवाब दिया, ‘‘हम चीन को तिब्बत के अधिकारियों के साथ मिलकर काम करने के लिए प्रोत्साहित करते हैं ताकि लोगों के दुखों का निवारण हो और उनके देश की सांस्कृतिक विविधता की रक्षा हो सके।’’
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