भगोड़े हीरा कारोबारी नीरव मोदी की हिरासत अवधि 28 दिन बढ़ाने के लिए उसे वीडियो लिंक के जरिये एक स्थानीय अदालत में पेश किया जाएगा. नीरव मोदी करीब दो अरब डॉलर की बैंक धोखाधड़ी के मामले में भारत में वांछित है.
उसे मार्च में यहां गिरफ्तार किया गया था और वह तब से स्थानीय वैंड्सवर्थ कारावास में है.
ब्रिटेन के कानून के आधार पर उसे हर चार सप्ताह के बाद हिरासत की अवधि को बढ़ाने के लिये अदालत में पेश किया जाता है.
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इस सुनवाई में नीरव मोदी को प्रत्यर्पित करने की भारत सरकार की याचिका के बारे में भी फैसला दिया जा सकता है.
इससे पहले पिछली पेशी में मुख्य न्यायाधीश एम्मा अर्बथनॉट ने संकेत दिया था कि दोनों पक्ष प्रत्यर्पण के लिये प्रस्तावित पांच दिन की सुनवाई पर जल्दी ही सहमत हो सकते हैं. यह सुनवाई भी वीडियो लिंक के जरिये ही हुई थी.
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उन्होंने संक्षिप्त सुनवाई के दौरान इस मामले से संबंधित सारे दस्तावेज आठ अप्रैल तक अदालत को सौंप दिये जाने का अनुमान व्यक्त किया था. पांच दिन की प्रस्तावित प्रत्यर्पण सुनवाई अगले साल मई में होने का अनुमान है.
अदालत इससे पहले कई बार नीरव मोदी की जमानत याचिका खारिज कर चुकी है. पिछले महीने ब्रिटेन के उच्च न्यायालय ने भी नीरव मोदी की जमानत याचिका खारिज कर दी थी. यह उसकी चौथी जमानत याचिका थी.
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बता दें, पंजाब नेशनल बैंक से हीरा कारोबारी नीरव मोदी ने 1.77 अरब डॉलर (करीब 11,400 करोड़ रुपये) का घोटाला किया. नीरव मोदी ने कथित रूप से बैंक की मुंबई शाखा से फ़र्ज़ी गारंटी पत्र (एलओयू) हासिल कर अन्य भारतीय ऋणदाताओं से विदेशी ऋण हासिल किया.
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