पाकिस्तान की एक भ्रष्टाचार निरोधक अदालत ने अल-कादिर ट्रस्ट और तोशाखाना उपहार मामले से जुड़े दो मुकदमों में पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान के खिलाफ सोमवार को गिरफ्तारी वारंट जारी किया. इस्लामाबाद स्थित जवाबदेही अदालत के न्यायाधीश मुहम्मद बशीर ने राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो (NAB) के अनुरोध पर वारंट जारी किए.
अली-कादिर ट्रस्ट मामला करीब 50 अरब रुपये के समझौते से जुड़ा है, जिसे ब्रिटेन की राष्ट्रीय अपराध एजेंसी ने एक पाकिस्तानी संपत्ति कारोबारी से वसूलने के बाद पाकिस्तान भेजा था.
उस समय प्रधानमंत्री होने के नाते, खान ने रकम को सरकारी खज़ाने में जमा करने के बजाय, कारोबारी को उच्चतम न्यायालय द्वारा कुछ साल पहले लगाए गए करीब 450 अरब रुपये के जुर्माने का आंशिक भुगतान करने के लिए राशि का उपयोग करने की अनुमति दी थी.
अदालत ने तोशाखाना उपहार मामले में भी खान की गिरफ्तारी का वारंट जारी किया. हालांकि यह मामला उस प्रकरण से अलग है जिसमें उन्हें अगस्त में दोषी ठहराया गया था और गिरफ्तार किया गया था लेकिन बाद में जमानत दे दी गई थी. वह मामला तोशखाना से मिले उपहारों की बिक्री से प्राप्त आय को छिपाने के लिए पाकिस्तान के चुनाव आयोग ने दायर किया था. खान कूट राजनयिक संदेश लीक मामले में फिलहाल रावलपिंडी की अडियाला जेल में बंद हैं.
वहीं, अल-कादिर ट्रस्ट मामले की जांच के सिलसिले में खान की पत्नी बुशरा बीबी इस्लामाबाद में एनएबी के समक्ष पेश हुईं.
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