विज्ञापन
This Article is From Jan 07, 2011

संयुक्त राष्ट्र दूत ने कहा, नेपाल में बढ़ रहा है खतरा

काठमांडू: नेपाल में संयुक्त राष्ट्र के शांति अभियान के समाप्त होने में 10 से भी कम दिन शेष रह गए हैं। इस बीच, संयुक्त राष्ट्र की एक शीर्ष दूत ने कहा कि नई सरकार बनाने और करीब 20,000 माओवादी लड़ाकों को अलग-थलग करने जैसे महत्वपर्ण मुद्दों के समाधान की दिशा में थोड़ी प्रगति हुई है लेकिन खतरा लगातार बढ़ता जा रहा है। नेपाल पर अपना रुख तय करने के लिए संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद न्यूयार्क में एक महत्वपूर्ण बैठक कर रही है। बैठक में महासचिव बान की-मून की नेपाल में प्रतिनिधि कैरिन लैंडग्रेन ने नेपाल में संयुक्त राष्ट्र अभियान (यूएनएमआईएन) की प्रमुख के बतौर नेपाल की निराशाजनक तस्वीर पेश की। लैंडग्रेन का कहना है कि नेपाल में स्पष्ट रूप से खतरा बढ़ रहा है। लैंडग्रेन ने कहा कि नेपालवासियों के बीच लोगों के विद्रोह की संभावना का खतरा बना हुआ है, माओवाद एक स्पष्ट खतरा बना हुआ है, सेना समर्थित तख्तापलट का भी खतरा है। उन्होंने कहा कि इस तरह का कोई भी खतरा नेपाल की शांति व उसके नाजुक लोकतंत्र के लिए खतरनाक हो सकता है। आगामी 15 जनवरी को संयुक्त राष्ट्र का नेपाल अभियान (यूएनएमआईएन) समाप्त हो जाएगा। इसके कार्यो में हथियारों और नेपाल के सशस्त्र जवानों व माओवादी लड़ाकों की निगरानी व प्रबंधन शामिल हैं।

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
संयुक्त राष्ट्र, दूत, नेपाल, खतरा