प्रतीकात्मक तस्वीर
तेल अवीव:
भारतीय वैज्ञानिक श्रीनिवास कुलकर्णी को अंतरिक्ष विज्ञान के क्षेत्र में योगदान के लिए प्रतिष्ठित डैन डेविड पुरस्कार के लिए चुना गया है. कुलकर्णी पासाडीना स्थित कैलिफोर्निया इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी में एस्ट्रोफिजिक्स एंड प्लेनेटेरी साइंस के प्रोफेसर हैं. इन्हें विशेष तौर पर ‘पैलोमर ट्रेन्शेंट फैक्ट्री’ के संचालन के लिए जाना जाता है. यह रात के समय आकाश के एक बड़े क्षेत्र का सर्वेक्षण है, जो कि अस्थिर एवं क्षणिक सिद्धांतों की खोज के लिए किया गया.
इस सर्वेक्षण के कारण आकाश में होने वाली क्षणिक घटनाओं के बारे में जानकारी को विस्तार मिला. डैन डेविड फाउंडेशन की ओर से दिए जाने वाले इस पुरस्कार में 10 लाख डॉलर दिए जाते हैं. इस संस्था का मुख्यालय तेल अवीव विश्वविद्यालय में है.
कुलकर्णी से पहले लेखक अमिताव घोष, संगीतकार जुबिन मेहता और जाने-माने रसायनशास्त्री सीएनआर राव को यह पुरस्कार मिल चुका है.
यह पुरस्कार 21 मई को पूर्व विजेताओं की मौजूदगी में दिया जाएगा. हर साल ‘अतीत’, ‘वर्तमान’ और ‘भविष्य’ की श्रेणी में तीन डैन डेविड पुरस्कार दिए जाते हैं, जिनमें प्रत्येक विजेता को 10 लाख डॉलर दिए जाते हैं. ये पुरस्कार उन लोगों को दिए जाते हैं, जिन्होंने विज्ञान, मानविकी या नागरिक समाज में अपने काम के जरिए अदभुत योगदान दिया है.
इस सर्वेक्षण के कारण आकाश में होने वाली क्षणिक घटनाओं के बारे में जानकारी को विस्तार मिला. डैन डेविड फाउंडेशन की ओर से दिए जाने वाले इस पुरस्कार में 10 लाख डॉलर दिए जाते हैं. इस संस्था का मुख्यालय तेल अवीव विश्वविद्यालय में है.
कुलकर्णी से पहले लेखक अमिताव घोष, संगीतकार जुबिन मेहता और जाने-माने रसायनशास्त्री सीएनआर राव को यह पुरस्कार मिल चुका है.
यह पुरस्कार 21 मई को पूर्व विजेताओं की मौजूदगी में दिया जाएगा. हर साल ‘अतीत’, ‘वर्तमान’ और ‘भविष्य’ की श्रेणी में तीन डैन डेविड पुरस्कार दिए जाते हैं, जिनमें प्रत्येक विजेता को 10 लाख डॉलर दिए जाते हैं. ये पुरस्कार उन लोगों को दिए जाते हैं, जिन्होंने विज्ञान, मानविकी या नागरिक समाज में अपने काम के जरिए अदभुत योगदान दिया है.
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