वह ढांचागत विकास परियोजनाओं के जरिए एशिया में अपने रणनीतिक प्रभाव एवं आर्थिक भूमिका को बढ़ाने के अपनी महत्वाकांक्षी ‘वन बेल्ट वन रोड’ पहल को पूरा करने के मकसद से प्रयास जारी रखेगा. उन्होंने कहा कि चीन एक सक्रिय विदेश नीति का पालन करना जारी रखेगा.
कोट्स ने कहा, ‘पूर्वी चीन सागर एवं दक्षिण चीन सागर में प्रतिद्वंद्वी क्षेत्रीय दावों, ताईवान के साथ संबंधों और पूर्वी एशिया में उसके आर्थिक संबंधों के मद्देनजर वह एशिया प्रशांत क्षेत्र में ऐसा करेगा.’ उन्होंने कहा कि चीन अंतरराष्ट्रीय आर्थिक मामलों में अपनी वैश्विक मौजूदगी बढ़ाने के लिए एशियन इंफ्रास्ट्रक्चर इन्वेस्टमेंट बैंक और अपनी ‘वन बेल्ट वन रोड’ परियोजना को लेकर आगे बढ़ने की कोशिश करेगा.
कोट्स ने कहा कि पैदा होती समस्याओं के प्रति वैश्विक प्रतिक्रिया में चीन की भूमिका बढ़ेगी, जैसा कि संयुक्त राष्ट्र शांतिरक्षा अभियानों में चीन की भागीदारी, आतंकवाद के खिलाफ उसका सहयोग बढ़ने और चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे के तौर पर पाकिस्तान एवं अफ्रीका में उसका ढांचागत निर्माण बढ़ने से दिखाई देता है.
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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