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This Article is From Jun 13, 2016

ओरलैंडो गोलीबारी के बाद कड़े बंदूक नियंत्रण कानून को लेकर बहस छिड़ी

ओरलैंडो गोलीबारी के बाद कड़े बंदूक नियंत्रण कानून को लेकर बहस छिड़ी
वॉशिंगटन: अमेरिका के ओरलैंडो में हुई अंधाधुंध गोलीबारी की घटना में 50 लोगों की मौत होने के बाद बंदूक हिंसा, आतंकवाद के खिलाफ युद्ध और देश में बढ़ते आतंकवाद को लेकर बहस तेज हो गई है और सांसदों ने कड़े बंदूक नियंत्रण कानून बनाए जाने की अपील की है।

कट्टरता का खतरा सबसे बड़ी चुनौती
फ्लोरिडा के सीनेटर मार्को रूबियो ने कहा, ‘‘देश में बढ़ते कट्टरता का खतरा हमारे कानून लागू करने वाली एजेंसियों और खुफिया समुदाय के लिए सबसे बड़ी चुनौती है।’’ सदन के अध्यक्ष पॉल रेयान ने कहा, ‘‘हम इस्लामी आतंकवादियों के साथ युद्धरत देश हैं। उनकी दमनात्मक, घृणास्पद विचारधारा है जिसकी कोई सीमा नहीं है। यह देश और विदेश में हमारे लोगों के लिए खतरा है।’’ हाउस डेमोक्रेटिक कॉकस के उपाध्यक्ष सांसद रॉबर्ट सी. ‘बॉबी’ स्कॉट और कांग्रेस एलजीबीटी इक्वालिटी कॉकस के सदस्य ने कड़े बंदूक नियंत्रण कानून बनाने की मांग की। स्कॉट ने कहा, ‘‘ये त्रासदी काफी साझा है और ऐसी घटनाओं को होते देख हम चुप नहीं बैठ सकते। कांग्रेस को हर मौजूदा प्रस्ताव की समीक्षा करनी चाहिए ताकि पता चल सके कि बंदूक हिंसा के सभी रूपों को कम करने के लिए हम क्या कर सकते हैं।’’

आतंरिक सुरक्षा एवं सरकारी मामलों की समिति के शीर्ष डेमोक्रेट सांसद ने कहा कि यह भीषण हमला याद दिलाता है कि आतंकवाद के खिलाफ खतरों से अमेरिका को हमेशा सतर्क रहना चाहिए। उन्होंने कहा, ‘‘यह महत्वपूर्ण है कि संघीय, राज्य और स्थानीय कानून लागू करने वाले अधिकारी मिलकर काम करें।’’

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