India | Reported by: आशीष भार्गव, Edited by: अंजलि कर्मकार |बुधवार नवम्बर 30, 2022 12:11 PM IST DMK का कहना है कि नागरिकता (संशोधन) अधिनियम 2019, में केवल 6 धर्मों यानी हिंदू, सिख, बौद्ध, जैन, पारसी और ईसाई समुदायों को शामिल किया गया है. इस संबंध में डीएमके अध्यक्ष स्टालिन द्वारा एक प्रतिनिधित्व तैयार किया गया था और एक करोड़ नागरिकों द्वारा हस्ताक्षरित किया गया था. इसे राष्ट्रपति को भेजा गया था, लेकिन कोई प्रतिक्रिया नहीं हुई है.