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This Article is From Mar 12, 2024

CAA को लेकर असम में आज बंद, दिल्ली, UP समेत कई राज्यों में अलर्ट; चप्पे-चप्पे पर पुलिस का पहरा

असम पुलिस ने सख्त लहजे में कहा कि CAA के खिलाफ होने वाले विरोध-प्रदर्शन (Assam CAA Protest Assam Bandh) और बंद की वजह से अगर सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचता है तो उनकी वसूली भी प्रदर्शनकारियों से ही की जाएगी.

CAA के विरोध में आज असम बंद का आह्वान.(फाइल फोटो)

नई दिल्ली:

देशभर में नागरिकता (संशोधन) अधिनियम यानी कि CAA कानून (Citizenship Amendment Act) लागू होते ही विरोध-प्रदर्शन भी शुरू हो गया है.  विरोध को दखते हुए कई राज्यों में अलर्ट जारी किया गया है. उत्तर प्रदेश असम और दिल्ली उन संवेदनशील राज्यों में शामिल हैं, यहां पुलिस अलर्ट मोड पर है. दिल्ली पुलिस की साइबर बिंग भी अलर्ट पर है. सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर देश भर की सुरक्षा एजेंसियों और पुलिस की पैनी नजर है. दरअसल CAA के विरोध में राजधानी में बड़ी संख्या में धरना प्रदर्शन किया गया था. शाहीनबाग इलाके पर खास नजर रखी जा रही है. वहीं असम में सीएए के खिलाफ आज बंद बुलाया गया है.

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असम में आज बंद का आह्वान

ऑल असम स्टूडेंट्स यूनियन ने CAA के विरोध-प्रदर्शन का आह्वान किया है. 16 दलों के संयुक्त विपक्षी फ़ोरम ने आज राज्यव्यापी बंद का एलान किया है. असम में कुछ जगह CAA की प्रतियां भी जलाई गईं. AASU से जुड़े लोग दिल्ली आकर सरकार से CAA की अधिसूचना वापस लेने की अपील करेंगे. असम पुलिस ने बंद बुलाए जाने पर 16 विपक्षी राजनीतिक दलों को कानूनी नोटिस जारी किया है. पुलिस ने राजनीतिक दलों को चेतावनी देते हुए कहा कि गुवाहाटी  हाईकोर्ट के आदेश के मुताबिक, बंद में शामिल लोगों पर केस दर्ज किए जा सकते हैं.  गुवाहाटी HC के 2023 के आदेश में कहा गया है कि 'बंद' अवैध और असंवैधानिक हैं. HC ने निर्देश देते हुए कहा कि सरकार प्रदर्शनकारियों से विरोध या हड़ताल की वजह से होने वाले आर्थिक नुकसान की वसूली कर सकती है. वहीं असम के मुख्यमंत्री ने चेतावनी दी थी कि बंद बुलाने पर राजनीतिक दलों का रजिस्ट्रेशन बंद हो सकता है. 

सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचा तो होगी वसूली

पुलिस ने सख्त लहजे में कहा कि विरोध-प्रदर्शन और बंद की वजह से अगर सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचता है तो उनकी वसूली भी प्रदर्शनकारियों से ही की जाएगी. सीएए के नियमों को अधिसूचित करने के बाद गौतमबुद्धनगर पुलिस अलर्ट मोड पर है. तीनों जोन के पुलिस उपायुक्तों (डीसीपी) ने सोमवार शाम को पुलिसबल के साथ अलग-अलग जगहों पर पैदल मार्च किया.  अधिकारियों ने बताया कि संवेदनशील जगहों पर अतिरिक्त पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है तथा इन इलाकों में पुलिस ने गश्त बढ़ा दी है. उन्होंने बताया कि इस संबंध में पुलिस सभी धर्म गुरुओं के साथ पहले ही बैठक कर चुकी है तथा कई जगह पर सादे कपड़ों में भी पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है. नोएडा जोन के डीसीपी विद्या सागर मिश्रा ने बताया कि शहर के कई हिस्सों में ड्रोन कैमरे से भी निगरानी की जा रही है तथा शहर को ‘जोन' और ‘सुपरजोन' में बांटा गया है.

असम में चप्पे-चप्पे पर पुलिस का सख्त पहरा

पुलिस अधिकारी ने कहा कि सोशल मीडिया पर नजर रखने के लिए दो दल गठित किए गए हैं और अगर किसी ने माहौल खराब करने वाला वीडियो साझा किया और ऐसी टिप्पणी की तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. सभी थाना प्रभारियों को अपने-अपने क्षेत्रों में गश्त करने का निर्देश दिया गया है. वहीं  CAA लागू होते ही असम में भी सोमवार को अतिरिक्त पुलिस कर्मियों की तैनाती के साथ सुरक्षा कड़ी कर दी गई.

अधिकारियों ने बताया कि सभी थानों को अलर्ट पर रखा गया है और गुवाहाटी सहित राज्य के लगभग सभी शहरों में प्रमुख मार्गों पर अवरोधक लगाए गए हैं. विपक्षी दलों द्वारा सीएए की अधिसूचना के खिलाफ विरोध प्रदर्शन शुरू करने की घोषणा किये जाने के बाद संवेदनशील इलाकों में गश्त बढ़ा दी गई है. ऑल असम स्टूडेंट्स यूनियन (आसू) ने सीएए की प्रतियां जलाने, जुलूस निकालने औरअधिसूचना के खिलाफ 'सत्याग्रह' शुरू करने की भी घोषणा की.

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