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महाराष्ट्र के मंत्री माणिकराव कोकाटे का इस्तीफा राज्यपाल ने किया स्वीकार

नासिक कोर्ट में माणिकराव कोकाटे के खिलाफ कानूनी लड़ाई लड़ने वाले याचिकाकर्ता के वकील आशुतोष राठौड़ ने कहा कि सजा मिलते ही माणिकराव कोकाटे की विधायकी खत्म हो गई है. 16 दिसंबर को ही वो डिस्क्वालीफाई हो गए थे. धारा 8(3) के तहत दोषसिद्धि ही काफी है.

महाराष्ट्र के मंत्री माणिकराव कोकाटे का इस्तीफा राज्यपाल ने किया स्वीकार
  • राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के नेता माणिकराव कोकाटे का 1995 के धोखाधड़ी मामले में दोषसिद्धि के बाद इस्तीफा
  • नासिक की सत्र अदालत ने माणिकराव कोकाटे को 2 साल की जेल और जुर्माने की सजा बरकरार रखी है
  • माणिकराव कोकाटे ने मजिस्ट्रेट कोर्ट के फैसले को सेशल कोर्ट में चुनौती दी थी, जहां भी सजा कायम रही है
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मुंबई:

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के नेता एवं पूर्व खेल-युवा कार्य मंत्री माणिकराव कोकाटे का इस्तीफा राज्यपाल ने स्वीकार कर लिया है. 16 दिसंबर 2025 को नासिक की सत्र अदालत ने माणिकराव कोकाटे को 1995 के धोखाधड़ी और जालसाजी के मामले में सुनाई गई 2 साल की जेल और 50,000 रुपये के जुर्माने की सजा को बरकरार रखा था. मामला 1995 में मुख्यमंत्री कोटे के तहत गलत तरीके से फ्लैट हासिल करने के लिए फर्जी आय प्रमाण पत्र और दस्तावेज जमा करने से जुड़ा था.

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गिरफ्तारी वारंट हो चुका जारी

माणिकराव कोकाट को एक मजिस्ट्रेट कोर्ट ने तीन दशक पुराने फ्लैट घोटाले का दोषी करात देते हुए दो साल की सजा सुनाई है. कोकाट ने मजिस्ट्रेट कोर्ट के इस फैसले को सेशल कोर्ट में चुनौती दी थी. अब सेशन कोर्ट ने भी मजिस्ट्रेट के फैसले को बरकार रखने तहुए कोकाटे की गिरफ्तारी के लिए वारंट जारी कर दिया है. मामले के तूल पकड़ने के बाद अजित पवार गुट से बने मंत्री कोकाटे ने अपने पद से इस्तीफा का ऐलान कर दिया था.

याचिकाकर्ता के वकील ने क्या कहा

नासिक कोर्ट में माणिकराव कोकाटे के खिलाफ कानूनी लड़ाई लड़ने वाले याचिकाकर्ता के वकील आशुतोष राठौड़ ने कहा कि सजा मिलते ही माणिकराव कोकाटे की विधायकी खत्म हो गई है. 16 दिसंबर को ही वो डिस्क्वालीफाई हो गए थे. धारा 8(3) के तहत दोषसिद्धि ही काफी है. जनप्रतिनिधित्व अधिनियम की धारा 8(3) के तहत 16 दिसंबर 2025 को दोषसिद्धि (Conviction) होते ही माणिकराव कोकाटे विधायक पद के लिए स्वतः अयोग्य यानी “डिस्क्वालीफ़ाई” हो चुके हैं.

कानून खुद-ब-खुद लागू

ऑटो-ऑपरेटिव है ये एम. कानून की धारा 8(3) एक 'स्विच' की तरह काम करती है. जैसे ही कोर्ट ने सजा सुनाई, अयोग्यता का 'स्विच' अपने आप ऑन हो गया. दोषसिद्धि ही काफी है! जैसे ही 16 दिसंबर 2025 को सजा सुनाई यानी कनविक्शन हुआ, उसी क्षण से कोकाटे अयोग्य हो गए. सुप्रीम कोर्ट ने यह कानून पहले ही साफ कर दिया है कि ऐसे मामलों में किसी बाहरी निर्णय की प्रतीक्षा करने की जरूरत नहीं होती, कानून खुद-ब-खुद लागू हो जाता है. कानून और लोकतांत्रिक सिद्धांतों की लड़ाई है और भरोसा है कि हाई कोर्ट में कानून की ही जीत होगी.

आज हाई कोर्ट में सुनवाई

मणिकराव कोकाटे के ख़िलाफ़ अरेस्ट वारंट जारी होने के बाद कल नासिक पुलिस मुंबई पोहो ही थी ,वही आज हाईकोर्ट में इस मामले में सुनवाई होगी. नासिक अदालत ने कोकाटे के खिलाफ गिरफ्तारी का वारंट भी जारी कर दिया था. इस फैसले के खिलाफ कोकाटे ने बॉम्बे हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया थाजिस पर आज सुनवाई होनी है. मामले में कोकाटे के वकील अनिकेत निकम ने जस्टिस आर एन लड्ढा की सिंगल बेंच के सामने याचिका का जिक्र किया और तुरंत सुनवाई की मांग की थी. हाई कोर्ट ने कहा था कि वह सजा को निलंबित करने के लिए कोकाटे की याचिका पर विचार करेगा. मामले पर 3 बजे आज सुनवाई होगी

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