लोकसभा चुनाव का बिगुल बज चुका है. लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election 2019) की तारीखों का ऐलान हो चुका है. इस बार कुल सात चरणों में चुनाव कराए जा रहे हैं. पहला चरण 11 अप्रैल को जबकि अंतिम चरण 19 मई को होगा. वोटों की गिनती 23 मई को होगी. 1.50 करोड़ मतदाता 18-19 साल उम्र के होंगे. इस चुनाव में मतदाताओं की संख्या लगभग 90 करोड़ होगी, जो 2014 के 81.45 करोड़ से अधिक है. जनता भी चुनावी मूड में आ गई है और अपने नेता का चुनाव कर रही है. कई लोग शहर से दूर हैं ऐसे में सवाल उठ रहा है, कि क्या ये लोग पोस्टल बैलेट के जरिए वोट कर सकते हैं. लेकिन आपको बता दें, सिर्फ कुछ ही लोग पोस्टल बैलेट का इस्तेमाल कर सकते हैं. इसकी सुविधा कुछ ही परिस्थितियों में मिलती है.
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पोस्टल बैलेट की व्यवस्था कुछ परिस्थितियों में ही मिलती है. यदि आप सेना या सरकार के लिए काम करते हैं या चुनाव की ड्यूटी के लिए अपने राज्य से बाहर तैनात हैं या आपको 'प्रिवेंटिव डिटेंशन' में रखा गया है. चुनाव आयोग पहले ही चुनावी क्षेत्र में डाक मतदान करने वालों की संख्या को निर्धारित कर लेता है. जिसके बाद खाली डाक मतपत्र को इलेक्ट्रॉनिक तरीके से वोटर तक पहुंचाया जाता है. अगर वोटर ऐसी जगह है जहां इलेक्ट्रॉनिक तरीके का इस्तेमाल नहीं किया जा सकता है तो वहां डाक सेवा से मतपत्र भेजा जाता है. अगर किसी कारण वोटर इसका प्रयोग नहीं कर पाता तो मतपत्र लौट आता है.
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सैनिक कर सकेंगे डिजिटलाइज्ड बैलेट से वोटिंग
डिजिटल सर्विस वोटर के जरिए सरहद पर तैनात सैनिक वोट डाल सकेंगे. इलेक्ट्रालॉकली ट्रांसमिटेड पोस्टल बैलेट सिस्टम बनाया गया है. जिसमें हर सैनिक का एक यूनिक आइडी और क्यू आर कोड होगा. सरहद या दूसरी जगह पर तैनात सैनिकों को उनकी लोकसभा के निर्वाचन कार्यालय से ऑनलाइन डिजिटलाइज्ड बैलेट पेपर भेजा जाएगा.
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