दिल्ली राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र शासन संशोधन कानून लागू होने के बाद दिल्ली विधानसभा का बुधवार से शुरू हो रहा सत्र हंगामेदार रहने के आसार हैं. संसद से पारित होने के बाद इस कानून को शनिवार को राष्ट्रपति की मंजूरी मिल गयी. इस कानून में केंद्र को राष्ट्रीय राजधानी में प्रशासनिक नियंत्रण मिलने का प्रावधान है. दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने छत्रसाल स्टेडियम में अपने स्वतंत्रता दिवस भाषण में कहा कि इस कानून ने दिल्ली की निर्वाचित सरकार के अधिकार छीन लिये हैं और आप सरकार उन अधिकारों को बहाल करेगी.
दिल्ली विधानसभा का दो दिवसीय विधानसभा सत्र बुधवार को पूर्वाह्न 11 बजे शुरू होगा. सदन की कार्यसूची में आप द्वारा उठाये जाने वाले किसी विशेष मुद्दे का उल्लेख नहीं है. आप नेताओं ने भी सत्र को लेकर अपनी रणनीति के बारे में पत्ते नहीं खोले हैं.सूत्रों ने कहा कि आप के सदस्य राज्यसभा से राघव चड्ढा और संजय सिंह के निलंबन के मुद्दे को भी उठा सकते हैं.
भाजपा विधायकों ने एक संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में आप पर विधानसभा में लोकतंत्र की अनदेखी करने का आरोप लगाया. दिल्ली विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष रामवीर सिंह बिधूड़ी ने कहा, ‘‘तीन साल हो गये, 16 सत्रों में भाजपा विधायकों को 35 बार विधानसभा से निकाला गया है जो उनके लोकतंत्र विरोधी व्यवहार को दर्शाता है.''
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