कांग्रेस के एक नेता द्वारा मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को ‘नंगे-भूखे घर' का बताने वाले बयान पर केन्द्रीय कृषि मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने मंगलवार को पलटवार करते हुए कहा कि कांग्रेस के लोगों को ऐसी ओछी बयानबाजी से बाज आना चाहिए, नहीं तो उसका (कांग्रेस) बचा खुचा आधार भी इस चुनाव में समाप्त हो जाएगा.
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मध्यप्रदेश में 28 विधानसभा सीटों के लिए तीन नवंबर को हो रहे उपचुनाव के प्रचार अभियान के दौरान मध्यप्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष एवं प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ की मौजूदगी में अशोक नगर जिले के राजपुर कस्बे में एक चुनावी सभा को संबोधित करते हुए मध्यप्रदेश किसान कांग्रेस के नेता दिनेश गुर्जर ने रविवार को कहा था, ‘‘कमलनाथ देश के दूसरे नंबर के उद्योगपति हैं. शिवराज की तरह नंगे-भूखे घर के नहीं हैं। ये खुद को किसान नेता कहते हैं...''
गुर्जर के नंगे-भूखे बयान पर टिप्पणी करते हुए तोमर ने भोपाल में संवाददाताओं से कहा, ‘‘देखिये, जब दिमाग में कुछ मटेरियल नहीं होता तो फिर इस तरह के अंट शंट बयानबाजी करते हैं. अभी किसी कांग्रेस के नेता ने कहा कि शिवराज सिंह चौहान जी भूखे-नंगे रहते हैं. तो क्या इस देश में गरीब होना अभिशाप है? कमलनाथ जी बड़े घर के हैं तो उन्होंने मध्यप्रदेश के लिए क्या कर दिया?''
उन्होंने कहा, ‘‘इसके विपरीत शिवराज सिंह चौहान गरीब घर में पैदा हुए, सरकारी स्कूल में पढ़े और उन्होंने अपने परिश्रम से यह मुकाम प्राप्त किया. इसलिए तो मध्यप्रदेश उनके 13 साल के शासनकाल में आगे बढ़ा. इसीलिए अधोसंरचना बढ़ा, मध्यप्रदेश का विकास हुआ, मध्यप्रदेश में कृषि का विकास देश में सबसे ज्यादा हुआ. शिवराज सिंह जी का मूल्यांकन काम के आधार पर होगा या कांग्रेस के नेताओं के बयानबाजी के आधार पर.''
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तोमर ने कहा, ‘‘मैं कांग्रेस के लोगों को आपके माध्यम से कहना चाहता हूं कि उनको ओछी बयानबाजी से बाज आना चाहिए, नहीं तो कांग्रेस का बचा खुचा जो आधार है, वह भी इस चुनाव में समाप्त हो जाएगा.''
मध्यप्रदेश में 28 विधानसभा सीटों के लिए तीन नवंबर को हो रहे उपचुनाव पर पार्टी की स्थिति के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा, ‘‘उपचुनाव में भाजपा की स्थिति मजबूत है, क्योंकि मतदाताओं ने इनका (कांग्रेस) 15 महीने का शासन देखा है और 15 महीने में जनता हाय तौबा करने लगी थी. कांग्रेस ने वादाखिलाफी की, भ्रष्टाचार भी चरम पर था, प्रदेश में अराजकता की स्थिति पैदा हो गई थी। सब जगह श्यामला हिल्स (मुख्यमंत्री निवास) से लेकर नीचे तक लूटमार की स्थिति पैदा हो गई थी.''
कृषि सुधार बिलों का जिक्र करते हुए तोमर ने कहा कि कृषि सुधार बिल किसानों के जीवन में अभूतपूर्व बदलाव लाने वाला है. इससे पहले भी संप्रग सरकार इस बात का प्रयत्न करती रही कि वह इस दिशा में काम करे. लेकिन कुछ लोगों के दबाव में संप्रग सरकार हिम्मत नहीं कर पाई. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सरकार किसान हितैषी है.
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं