श्रीनगर:
कश्मीर में लड़कियों के एक रॉक बैंड के लिए उमड़े समर्थन के बीच जम्मू-कश्मीर के मुफ्ती-ए-आज़म बशीरुद्दीन अहमद ने गायन को ‘गैर इस्लामी’ करार दिया।
मुफ्ती-ए-आजम ने एक फतवा जारी किया और गाना गाने को गैर-इस्लामी बताया। उन्होंने बताया, ‘मैंने कहा है कि गायन इस्लामी शिक्षा के अनुरूप नहीं है।’ उन्होंने कहा कि उनकी तरफ से बैंड की सदस्यों को गायन ‘छोड़ देने’ की सलाह दी जा चुकी है क्योंकि यह इस्लामी शिक्षाओं के खिलाफ है और उन्हें समाज में कुछ सकारात्मक भूमिका निभाने में मदद नहीं करेगा।
मुफ्ती-ए-आजम ने एक फतवा जारी किया और गाना गाने को गैर-इस्लामी बताया। उन्होंने बताया, ‘मैंने कहा है कि गायन इस्लामी शिक्षा के अनुरूप नहीं है।’ उन्होंने कहा कि उनकी तरफ से बैंड की सदस्यों को गायन ‘छोड़ देने’ की सलाह दी जा चुकी है क्योंकि यह इस्लामी शिक्षाओं के खिलाफ है और उन्हें समाज में कुछ सकारात्मक भूमिका निभाने में मदद नहीं करेगा।