अमृतसर-सिंगापुर फ्लाइट में 32 यात्रियों के न चढ़ पाने पर स्कूट एयरलाइंस ने मांगी माफी

बुधवार को शाम 7:55 बजे अमृतसर के श्री गुरु रामदास जी अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे से रवाना होकर सिंगापुर जाने वाला विमान दोपहर पौने चार बजे ही रवाना हो गया, विमान में सवार नहीं हो सके 32 यात्री

अमृतसर-सिंगापुर फ्लाइट में 32 यात्रियों के न चढ़ पाने पर स्कूट एयरलाइंस ने मांगी माफी

प्रतीकात्मक फोटो.

नई दिल्ली :

बजट कैरियर स्कूट ने पंजाब के अमृतसर से सिंगापुर जाने वाली एक उड़ान के समय में बदलाव के कारण हुई असुविधा के लिए आज माफी मांगी. बुधवार को शाम 7:55 बजे अमृतसर के श्री गुरु रामदास जी अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे से सिंगापुर जाने वाले स्कूट एयरलाइन के विमान में 32 यात्री सवार नहीं हो सके थे.

स्कूट के प्रवक्ता ने कहा कि खराब मौसम की वजह से उड़ान के मूल प्रस्थान समय में बदलाव हुआ था. उड़ान का अमृतसर से प्रस्थान समय 18 जनवरी को अपराह्न 3:45 बजे पुनर्निर्धारित किया गया था.

पूर्ण अंतरराष्ट्रीय सेवाओं के लिए परिचालन करने वाली सिंगापुर एयरलाइंस की सहायक कंपनी लो-कॉस्ट एयरलाइनर ने कहा, "स्कूट ईमानदारी से असुविधा के लिए माफी मांगती है. हम प्रभावित कस्टमर को आवश्यक सहायता प्रदान करने के लिए काम कर रहे हैं." समय पर हवाईअड्डे पहुंचे 263 यात्री विमान में सवार हो गए थे.

अमृतसर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से सिंगापुर जाने के लिए विमान में 32 यात्री सवार नहीं हो सके थे क्योंकि उनके बुकिंग एजेंट ने प्रस्थान समय में बदलाव के बारे में उन्हें सूचित नहीं किया था. 'स्कूट एयरलाइन' का विमान निर्धारित समय के अनुसार बुधवार को शाम 7:55 बजे उड़ान भरने वाला था. हालांकि, यह विमान शाम पौने चार बजे ही हवाई अड्डे से रवाना हो गया. हालांकि अधिकारियों के मुताबिक सभी यात्रियों को उनके बुकिंग एजेंटों द्वारा ई-मेल के माध्यम से समय से पहले बदलाव के समय के बारे में सूचित किया गया था.

श्री गुरु रामदास जी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के निदेशक वीके सेठ ने कहा, ‘‘सभी बुकिंग एजेंटों को समय पर सूचित कर दिया गया था और उन्होंने अपने ग्राहकों को इस बारे में सूचना दे दी थी. लेकिन, केवल एक एजेंट अपने यात्रियों को सूचित नहीं कर सका और क्यों नहीं कर सका, यह वही बता सकता है. ''

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वी के सेठ ने कहा, ‘‘यदि हम उड़ान के समय में बदलाव की बात करें तो एक उचित प्रक्रिया का पालन किया गया था, क्योंकि ऐसा सभी संबंधित प्राधिकरणों के अलावा भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण से पूर्व मंजूरी के साथ किया जाता है.''