विज्ञापन
Story ProgressBack
This Article is From Jul 29, 2020

आज दोपहर अंबाला एयरफ़ोर्स स्टेशन लैंड करेंगे राफेल लड़ाकू विमान : सूत्र

ये विमान भारतीय वायु सेना के 17वें स्क्वाड्रन गोल्डेन ऐरोज (Golden Arrows) का हिस्सा बनेंगे जो राफेल विमान से सुसज्जित पहली स्क्वाड्रन होगी.

Read Time: 3 mins
आज दोपहर अंबाला एयरफ़ोर्स स्टेशन लैंड करेंगे राफेल लड़ाकू विमान : सूत्र
राफेल लड़ाकू विमान आज पहुंचेगा भारत
नई दिल्ली:

राफेल लड़ाकू विमान बुधवार को अम्बाला एयरफ़ोर्स स्टेशन पर दोपहर 1 बजे से लेकर 3 बजे के बीच लैंड करेगा. सूत्रों ने ऐसी जानकारी दी है. सयुंक्त अरब अमीरात में फ्रांस के अल धफरा एयरबेस से ये 5 राफेल विमान उड़ान भरेंगे और अंबालाअम्बाला में इनकी लैंडिंग होगी. भारतीय वायु सेना के पायलट जिन्होंने राफेल विमान के उड़ान की ट्रेनिंग ली है, वही विमान उड़ाकर भारत लेकर आएंगे. कमांड‍िंग ऑफिसर ग्रुप कैप्टन हरकीरत सिंह के नेतृत्व में राफेल विमान अम्बाला एयर बेस पर लैंड करेगा. 5 राफेल विमानों ने फ्रांस के Merignac में, जहां राफेल विमान बनाने वाली कंपनी डसॉल्ट एविएशन की प्रोडक्शन फैसिलिटी है, वहीं से राफेल विमानों ने सोमवार को टेक ऑफ किया था.

ये विमान भारतीय वायु सेना के 17वें स्क्वाड्रन गोल्डेन ऐरोज (Golden Arrows) का हिस्सा बनेंगे जो राफेल विमान से सुसज्जित पहली स्क्वाड्रन होगी. दूसरी स्क्वाड्रन को पश्चिम बंगाल के हाशिमोरा में तैनात किया जाएगा. जरूरत पड़ने पर राफेल विमानों को भारत चीन विवाद के बीच लद्दाख में एक हफ्ते के भीतर तैनात भी किया जा सकता है जबकि इसमे 6 महीने तक का समय लगता था. राफेल विमान में हवा से हवा में मार करने वाली मीट‍ियोर मिसाइल से सुसज्जित होंगे जिसकी मारक क्षमता 150 किलोमीटर है और जो बिना सीमा पार किये दुश्मन देश के विमान को तबाह कर सकता है.

इन मिसाइलों से लैस होगा राफेल विमान, सैकड़ों किलोमीटर दूर से कर सकता है अचूक वार

मीट‍ियोर मिसाइल अम्बाला पहुंच चुकी है. चीन और पाकिस्तान के पास ये क्षमता नहीं है. दूसरी मिसाइल जो राफेल में होगी वो है स्काल्प. इसकी अचूक मारक क्षमता 600 किलोमीटर तक की है. चीन के साथ विवाद के बीच भारत ने हैमर मिसाइल भी एमरजेंसी तौर पर राफेल के लिए खरीदने का फैसला किया है जिसकी मारक क्षमता 60 किलोमीटर है. अम्बाला में राफेल के स्वागत समारोह में मीडिया को इजाजत नहीं दी गयी है. भारतीय वायु सेना फिलहाल अपने पायलट्स और सपोर्ट स्टाफ को मीडिया से दूर रखना चाहती है.

राफेल के आने से पहले सुरक्षा के मद्देनजर अम्बाला कैंट एरिया में धारा 144 लागू कर दी गई है. ये राफेल विमान अंबाला में भारतीय वायुसेना के जिस 17वें स्क्वाड्रन यानी गोल्डेन ऐरोज स्क्वाड्रन हिस्सा होंगे उसे पिछले साल 10 सितंबर को पुनर्जीवित किया गया था. पहले मिग-21 इस स्क्वाड्रन का हिस्सा थे जिन्हें अब सेवा से हटा दिया गया है. 17वें स्क्वाड्रन की स्थापना 1 अक्टूबर 1951 में कई गयी थी. फ्लाइट लेफ्टिनेंट डी एल स्प्रिंगनेट इस 17वें स्क्वाड्रन के मुखिया थे. पहले यह स्क्वाड्रन Harvard-II B विमानों से साथ सुसज्जित थी. 1975 में मिग-21 इसका हिस्सा बने. और अब राफेल इस स्क्वाड्रन का हिस्सा बनने जा रहा है.

VIDEO: फ्रांस से भारत के लिए उड़े 5 राफेल विमान

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
डार्क मोड/लाइट मोड पर जाएं
Our Offerings: NDTV
  • मध्य प्रदेश
  • राजस्थान
  • इंडिया
  • मराठी
  • 24X7
Choose Your Destination
Previous Article
स्कूलों को मिले धमकी वाले ई-मेल को लेकर आया बड़ा अपडेट, IP एड्रेस के आधार पुलिस ने बुडापेस्ट पर जताया संदेह
आज दोपहर अंबाला एयरफ़ोर्स स्टेशन लैंड करेंगे राफेल लड़ाकू विमान : सूत्र
माला पहनाने के बहाने कन्हैया कुमार पर हमला, दिल्ली में प्रचार के दौरान स्याही भी फेंकी
Next Article
माला पहनाने के बहाने कन्हैया कुमार पर हमला, दिल्ली में प्रचार के दौरान स्याही भी फेंकी
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com
;