
- PM मोदी ने वाराणसी में ऑपरेशन सिंदूर की सफलता को बाबा विश्वनाथ के आशीर्वाद से जोड़ा.
- किसान सम्मान निधि की 20वीं किश्त जारी करते हुए कहा कि 10 करोड़ किसानों के खातों में 21 हजार करोड़ रुपये भेजे.
- पीएम मोदी ने तमिलनाडु के प्राचीन मंदिर का जिक्र कर देश की शैव परंपरा और एकता को आगे बढ़ाने का संकल्प जताया.
पीएम नरेंद्र मोदी ने आज वाराणसी में पहलगाम आतंकी हमले का जिक्र करते हुए कहा (PM Modi Varanasi) कि काशी के मेरे मालिक जनता-जनार्दन, सावन का महीना हो, काशी हो, देशभर के किसानों से जुड़ना हो इससे बड़ा मौका क्या हो सकता है. आज मैं ऑपरेशन सिंदूर (Operation Sindoor) के बाद पहली बार काशी आया हूं. 22 अप्रैल को पहलगाम में आतंकी हमला हुआ था, 26 निर्दोष लोगों की कितनी बेरहमी से हत्या कर दी गई थी. उनके परिवार की पीड़ा, उन बच्चों का दुख, बेटियों वेदना मेरा हृदय बहुत तकलीफ से गुजरा. तब मैं, बाबा विश्वनाथ से यही मना रहा था कि सभी पीड़ित परिवार को ये दुख सहने की हिम्मत दे."
जो वचन दिया था, वो भी पूरा हुआ
उन्होंने आगे कहा कि मैंने अपनी बेटियों के सिंदूर का बदला लेने के लिए जो वचन दिया था, वो भी पूरा हुआ है. ये महादेव के आशीर्वाद से ही पूरा हुआ है. मैं ऑपरेशन सिंदूर की सफलता को उनके चरणों में समर्पित करता हूं.
वाराणसी में ऑपरेशन सिंदूर का जिक्र करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि 140 करोड़ देशवासियों की एकता ऑपरेशन सिंदूर की ताकत बनी. ऑपरेशन सिंदूर जवानों के पराक्रम का वो पल और आज किसानों को प्रणाम करने का अवसर मिला है. काशी में आज एक विराट किसान उत्सव का आयोजन हो रहा है.
किसानों पर खर्च होंगे 24 हजार करोड़ रुपये
पीएम मोदी ने कहा कि मोदी के विकास का मंत्र है- 'जो जितना पिछड़ा उसे उतनी ज्यादा प्राथमिकता'. इस महीने केंद्र सरकार ने एक और नई योजना को मंजूर दी है जिसका नाम है प्रधानमंत्री धन धान्य कृषि योजना. इस योजना पर 24 हजार करोड़ रुपये किसानों के कल्याण के लिए खर्च किए जाएंगे. देश के ऐसे जिले जो पिछली सरकारों की गलत नीतियों के कारण विकास की राह में पिछड़ गए थे. उन जिलों पर प्रधानमंत्री धन धान्य कृषि योजना का फोकस होगा.
किसान सम्मान निधि की 20वीं किश्त जारी
पीएम मोदी ने किसान सम्मान निधि की 20वीं किश्त जारी करने के बाद ये बात कही. इस दौरान उन्होंने कहा कि देश के 10 करोड़ किसान भाई बहनों के खातों में 21 हजार करोड़ रुपये पीएम किसाान सम्मान निधि के रूप में भेजे गए हैं. जब काशी से धन जाता है तो अपने आप प्रसाद बन जाता है.पीएम ने कहा कि आज काशी में 2 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा की विकास परियोनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास भी हुआ है. बाबा के आशीर्वाद से काशी में विकास की अविरल धारा मां गंगा के साथ-साथ आगे बड़ रही है.
#WATCH | वाराणसी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 9.7 करोड़ किसानों के बैंक खातों में 20,000 करोड़ रुपये से अधिक की प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की 20वीं किस्त जारी की।
— ANI_HindiNews (@AHindinews) August 2, 2025
सोर्स: डीडी pic.twitter.com/330ae4LPEl
#WATCH | वाराणसी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, "ऑपरेशन सिंदूर जवानों के पराक्रम का वह पल और आज किसानों को प्रणाम करने का अवसर। आज यहां एक विराट किसान उत्सव का आयोजन हो रहा है। देश के 10 करोड़ किसान भाई-बहनों के खातों में 21 हजार करोड़ रुपये PM किसान सम्मान निधि के रूप में… pic.twitter.com/4VwMh9iKf6
— ANI_HindiNews (@AHindinews) August 2, 2025
भोलेनाथ और मां गंगा को प्रणाम करता हूं
वाराणसी के मंच से पीएम मोदी ने कहा कि काशी में गंगाजल लेकर जाते हुए शिवभक्तों की दिव्य तस्वीरें देखने का अवसर मिल रहा है, खासकर सावन के पहले सोमवार को जब हमारे बंधु बाबा का जलाभिषेक करने निकलते हैं, यह बहुत ही मनोरम दृश्य होता है. डमरू की आवाज से अद्भुद भाव पैदा होता है. मेरी भी बहुत इच्छा थी कि सावन के पवित्र महीने में बाबा विश्वनाथ और मार्कंडेय महादेव के दर्शन करूं. मेरे वहां जाने से भक्तों को दिक्कत न हो और उनके दर्शन में बाधा न पड़े इसलिए मैं आज यहीं से भोलेनाथ और मां गंगा को प्रणाम कर रहा हूं. पीएमने कहा, " हम सेवापुरी के इस मंच से बाबा विश्वनाथ को प्रणाम करत हैं..." पीएम मोदी ने हर-हर महादेव का जयकारा भी लगाया.
श्रेष्ण भारत की परंपरा को आगे बढ़ाने की कोशिश
पीएम मोदी ने कहा कि कुछ दिन पहले मैं तमिलनाडु में था. मैं वहां 1 हजार साल पुराने एक एतिहासिक मंदिर गया था. ये मंदिर देश की शैव परंपरा का एक प्राचीन केंद्र है. ये मंदिर हमारे देश के महान और प्रसिद्ध महान राजा राजेंद्र चोल ने बनवाया था. राजेंद्र चोल ने उत्तर भारत से गंगा जल मंगवाकर उत्तर को दक्षिण से जोड़ा था. हजार साल पहले अपनी शिव भक्ति और शैव परंपरा के जरिए राजेंद्र चोल ने एक भारत और श्रेष्ण भारत का उद्घोष किया. आज हम अपने प्रयासों के जरिए उसे आगे बढ़ाने का प्रयास कर रहे हैं.
तभी ऑपरेशन सिंदूर सफल हुआ
जब मैं वहां गया तो यह मेरे लिए संतोष की बात है कि 1 हजार साल बाद आप के आशीर्वाद से मैं भी गंगाजल लेकर वहां गया था. मां गंगा के आशीर्वाद से बहुत ही पवित्र माहौल में वहां पूजा संपन्न हुई. गंगाजल से वहां जलाभिषेक करने का सौभाग्य मिला. जीवन में ऐसे अवसर बहुत प्रेरणा देते हैं. देश की एकता की हर बात नई चेतना जगा देती है. तभी तो ऑपरेशन सिंदूर सफल होता है.
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