बेंगलुरु: कर्नाटक में एक आरएसएस नेता के खिलाफ उनकी कथित टिप्पणी को लेकर केस दर्ज किया गया है. RSS नेता ने अपने बयान में कहा था कि मुस्लिम पुरुष तीन तलाक को अवैध घोषित करने वाले विधेयक को पारित करने के लिए केंद्र की भाजपा सरकार से नाखुश हैं. वहीं, मुस्लिम महिलाएं खुश हैं क्योंकि उनके पास अब एक "स्थायी" पति का अधिकार है.
रविवार को कर्नाटक के श्रीरंगपट्टनम में एक कार्यक्रम के दौरान अपने भाषण में आरएसएस नेता प्रभाकर भट्ट कल्लाडका ने कहा था, "हाल तक, तीन तलाक के माध्यम से तलाक की प्रथा कानूनी थी, लेकिन मोदी सरकार के सत्ता में आने के बाद से इसे खत्म कर दिया गया है. मुस्लिम पुरुष इस बात से बहुत नाखुश होंगे."
बयान सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद एक सामाजिक कार्यकर्ता नाज़िया नज़ीर ने श्रीरंगपट्टनम पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई है. कल्लाडका के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत एक प्रथम सूचना रिपोर्ट (FIE) दर्ज की गई है, जिसमें समूहों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देना, धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाना और एक महिला की विनम्रता का अपमान करना शामिल है.
बता दें कि तीन तलाक के जरिए तलाक की प्रथा को 2017 में सुप्रीम कोर्ट ने असंवैधानिक माना था और संसद ने 2019 में इसे अवैध घोषित करने वाला कानून पारित किया था.
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