चीन की AI कंपनी डीपसीक से बड़ी चुनौती मिलने के बाद अब ओपनएआई के सीईओ सैम ऑल्टमैन (OpenAi CEO Sam Altman) के सुर काफी बदल गए हैं. कभी भारत को इस क्षेत्र में नजरअंदाज करने वाले ऑल्टमैन ने अब AI के क्षेत्र में भारत का लोहा माना है. उन्होंने इस बात को स्वीकार किया है कि भारत एआई और OpenAi के लिए अहम बाजार है और भारत AI लीडर बन सकता है. बुधवार को आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव के साथ बातचीत के दौरान उन्होंने कहा कि भारत को अपने पूर्ण मॉडल के साथ एआई क्रांति के बड़े देशों में शामिल होना चाहिए. ऑल्टमैन का कहना है कि भारत में पिछले साल ओपनएआई के यूजर्स की तादात तीन गुना बढ़ी है.
भारत AI के लिए एक अहम बाजार
सैम ऑल्टमैन ने स्टैक, चिप्स, मॉडल और इनक्रेडिबल एप्लिकेशन्स के सभी लेवल पर AI के निर्माण में भारत की कोशिशों की जमकर तारीफ की. भारत दौरे पर आए ऑल्टमैन ने कहा, "भारत सामान्य रूप से एआई के लिए एक अहम बाजार है, खासकर ‘ओपन' एआई के लिए यह हमारा दूसरा सबसे बड़ा बाजार है. उन्होंने कहा कि पिछले साल यहां उपयोगकर्ताओं की संख्या तीन गुना हो गई, खासकर यह देखना कि भारत में लोग स्टैक, चिप्स, मॉडल के साथ एआई के सभी स्तरों पर क्या कर रहे हैं ...सभी इनक्रेडिबल एप्लिकेशन्स के साथ क्या बना रहे हैं..." इसके साथ ही एआई के दिग्गज ऑल्टमैन ने भारत को एआई के क्षेत्र में पूरी क्षमता के साथ आगे बढ़ने की सलाह दी.
पहले भारत को कमतर आंका अब माना लोहा
भारत के AI में विश्व की आवाज बनने और नेतृत्व की स्थिति में आने के बारे में उनकी क्या सलाह है, इस सवाल पर उन्होंने कहा कि उनको लगता है कि वह काम कर रहा है. बता दें कि भारत के एआई के क्षेत्र में कोशिशों पर ऑल्टमैन का आशावादी दृष्टिकोण काफी मायने रखता है, क्योंकि इससे पहले साल 2023 में उन्हें तब आलोचना झेलनी पड़ी थी जब उन्होंने अमेरिका के बाहर उभरने वाले शक्तिशाली एआई मॉडल के बारे में शक जताया था.
सैम ऑल्टमैन के साथ बातचीत में आईटी मंत्री अश्वनी वैष्णव ने कहा कि इनोवेशन दुनिया में कहीं भी हो सकता है तो ये भारत में क्यों नहीं होना चाहिए.
सैम ऑल्टमैन ने भारत को लेकर पहले क्या कहा था?
बता दें कि ओपनएआई के सीईओ सैम ऑल्टमैन ने करीब डेढ़ साल पहले यानी कि साल 2023 में ये एक बयान दिया था. इस दौरान उन्होंने कहा था कि ChatGPT जैसे फाउंडेशनल मॉडल बनाने वाले OpenAI के साथ मुकाबला करना भारत के लिए निराशानजनक होगा. उनके इस बयान पर तीखी प्रतिक्रिया देखने को मिली थी.लेकिन अब वह खुद इस क्षेत्र में भारत के बढ़ते कदमों का लोहा मान रहे हैं. अपने पिछले बयान को सुधारते हुए अब उनका कहना है कि भारत AI के क्षेत्र में बड़े लीडर्स में शामिल हो सकता है.
OpenAi को चीन के डीपसीक से मिल रही चुनौती
बता दें कि सैम ऑल्टमैन ऐसे समय में भारत दौरे पर आए हैं, जब OpenAi के आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को अचानक चीनी कंपनी डीपसीक ने बड़ी चुनौती दे दी है. डीपसीक अपने कम लागत वाले एआई मॉडल आर1 की वजह से दुनियाभर में चर्चा में बना हुआ है. इसे 60 लाख अमेरिकी डॉलर से भी कम लागत में बनाया गया है और चैटजीपीटी जैसे लोकप्रिय मॉडलों की तुलना में इसकी ‘कंप्यूटिंग पावर' बहुत कम है. डीपसीक, चैटजीपीटी को पीछे छोड़ते हुए एप्पल के ऐप स्टोर पर टॉप ष रैंक वाला मुफ्त ऐप भी बन गया है.
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