अब इन- विट्रो जांच उपकरण के विकास से लेकर अनुमोदन तक की प्रक्रिया के लिए बहुत परेशान नहीं होना होगा. सरकार ने स्वास्थ्य तकनीक पर काम कर रहे भारतीय स्टार्टअप्स के लिए मेडटेक मित्र इनोवेटर गाइड बुक लॉन्च की है, जो उपकरण के बनने से अनुमोदन तक की प्रक्रिया को आसान और पारदर्शी करेगा. यह गाइडबुक भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICMR) और केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (CDSCO) ने मिलकर लॉन्च की है, जो उन वैज्ञानिकों और उद्यमियों के लिए लाभकारी होगी जो नए जांच उपकरण या टेस्ट विकसित कर रहे हैं.
गाइडबुक से क्या होगा लाभ?
गाइडबुक में बताया गया है किसी उत्पाद को बाजार में लाने से पहले किन नियमन, अनुमोदनों, क्लीनिकल मान्यता, नैतिक दिशा निर्देशों और गुणवत्ता मानकों का पालन करना जरूरी है. दरअसल अभी तक स्टार्टअप को उत्पाद परीक्षण और मंजूरी के लिए विभिन्न संस्थाओं की चक्कर लगाने पड़ते थे जिससे इनोवेशन की रफ्तार धीमी हो जाती थी. लेकिन यह गाइड बुक एक सिंगल विंडो रिफरेंस के रूप में कार्य करेगी, जो रिसर्च के हर स्तर, परीक्षण, मूल्यांकन और बाजार प्रवेश में मार्गदर्शन करेगी.
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, यह पहल देश में मेडिकल तकनीक (MedTech) से जुड़े उपकरणों और किट को देश में ही बनाने की सोच को मजबूत करेगी. इससे भारत में सुरक्षित, अच्छी गुणवत्ता वाली और अपने देश में बनी टेस्ट किट तैयार करने को बढ़ावा मिलेगा.
इनोवेशन टू रेगुलेशन के बीच कम होगी दूरी
नीति आयोग के सदस्य डॉ. वी.के. पॉल ने कहा कि यह कदम बहुत महत्वपूर्ण है, क्योंकि यह देश में नए मेडिकल उपकरण बनाने और उन्हें नियमों के अनुसार मंजूरी देने के बीच की दूरी को कम करेगा.
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