मालेगांव बम धमाके (Malegaon Blast Case) की आरोपी और बीजेपी सांसद प्रज्ञा ठाकुर (Pragya Thakur) शुक्रवार को मुंबई के एनआईए कोर्ट में पेश हुईं. इस दौरान कोर्ट में जज ने साध्वी सहित उपस्थित सभी आरोपियों से सवाल पूछे. जज का पहला सवाल था कि ''क्या आप बता सकते हैं अब तक कितने गवाहों की गवाही हुई है?'' इस पर साध्वी प्रज्ञा ने जवाब दिया कि ''मुझे नहीं पता''. जज ने दूसरा सवाल पूछा, ''अब तक गवाहों के बयान है कि 29 सितंबर 2008 को मालेगांव में धमाका हुआ था. मैं ये नही पूछ रहा हूं कि किसने किया. मैं ये सिर्फ ये जानना चाहता हूं आप को क्या कहना है?'' इस पर प्रज्ञा साध्वी ने फिर जवाब दिया कि ''मुझे नहीं पता''.
कोर्ट रूम में जज ने साध्वी सहित उपस्थित सभी आरोपियों से की बातचीत-
सवाल- क्या आप बता सकते हैं अब तक कितने गवांहो की गवाही हुई है?
साध्वी ने जवाब- मुझे नही पता.
सवाल- अब तक गवाहों के बयान है कि 29 सितंबर 2008 को मालेगांव में धमाका हुआ था. मैं ये नहीं पूछ रहा हूं कि किसने किया. मैं ये सिर्फ ये जानना चाहता हूं आप को क्या कहना है?
साध्वी का जवाब - मुझे नहीं पता.
दोपहर में लंच ब्रेक के बाद फिर से अदालत की कार्यवाही शुरू हुई.
जज ने साध्वी से पूछा- आपको बैठना है या खड़ा रहना है?
साध्वी ने कहा- कभी खड़ा रहना और कभी बैठना. आप इजाजत दे तो मैं एक तरफ खड़ी रह सकती हूं.
जज ने पीछे आरोपियों के कटघरे की तरफ इशारा किया तो साध्वी ने कहा- पीछे से मुझे सुनाई नही देता.
आरोपी समीर कुलकर्णी के कहा- जी हां, सुनाई पड़ रही है.
उसके बाद जज ने खिड़की तरफ एक कुर्सी लगाने को कहा.
कुर्सी लगाई गई लेकिन साध्वी प्रज्ञा ठाकुर कुर्सी पर बैठी नहीं.
बता दें, प्रज्ञा ठाकुर को गुरुवार को भी कोर्ट में पेश होना था, लेकिन वह पहुंच नहीं सकी थीं. इस हफ्ते यह दूसरा मौका था, जब वह कोर्ट में पहुंच नहीं सकीं. उनके वकील प्रशांत मागू ने गुरुवार को कोर्ट से कहा था कि वह हाई ब्लड प्रेशर से परेशान हैं और सफर नहीं कर सकतीं. हालांकि अदालत ने उन्हें एक दिन की मोहलत देते हुए शुक्रवार को पेश होने के लिए निर्देश दिया था, अन्यथा परिणाम भुगतने के लिए तैयार होने को कहा था.
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प्रज्ञा ने हाल ही में हुए लोकसभा के आमचुनाव में कांग्रेस के दिग्गज नेता दिग्विजय सिंह को भोपाल लोकसभा सीट पर पराजित किया था. प्रज्ञा 2008 में हुए मालेगांव बम विस्फोट मामले में आरोपी हैं और फिलहाल जमानत पर हैं. मालूम हो कि इस सप्ताह अदालत में पेश होने से छूट देने का प्रज्ञा का आवेदन, सोमवार को एनआईए जज वीएस पडालकर ने खारिज कर दिया था. आवदेन में प्रज्ञा ने कहा था कि उन्हें संसद की औपचारिकताएं पूरी करनी हैं. अदालत ने इस पर कहा कि मामले में इस स्तर पर अदालत में उसकी उपस्थिति आवश्यक है.
Video: नाथूराम गोडसे को देशभक्त कहने पर प्रज्ञा ठाकुर ने मांगी माफी
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