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Maharashtra-Karnataka Border Dispute: पहले कर्नाटक के ड्राइवर की महाराष्ट्र में पिटाई, बाद में महाराष्ट्र के ड्राइवर की कर्नाटक में पिटाई और अब दोनों राज्यों से बीच सालों से चली आ रही विवाद फिर से उफान पर. ये कहानी है महाराष्ट्र और कर्नाटक के बीच चल रहे हालिया तनातनी की. मारपीट को दो घटनाओं से दोनों राज्यों की सरकार आमने-सामने आ गई है. दोनों राज्यों के बीच बस सेवा प्रभावित है. इससे लोगों को आवाजाही में परेशानी हो रही है. जाहिर है जब लोगों का आना-जाना प्रभावित होगा तो उसका असर कारोबार पर भी पड़ेगा ही. फिलहाल इस विवाद में कोई भी पक्ष झुकने को तैयार नहीं है.
दूसरी ओर उत्तर पश्चिम कर्नाटक सड़क परिवहन निगम (NWKRTC) के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, ‘‘हमने महाराष्ट्र जाने वाली बसों की संख्या फिलहाल सीमित कर दी है और स्थिति को सामान्य करने के लिए सभी एहतियात बरत रहे हैं.''
महाराष्ट्र सरकार ने कहा- कर्नाटक सरकार स्पष्ट करें रुख
महाराष्ट्र सरकार का कहना है- जब तक कर्नाटक सरकार स्पष्ट रुख नहीं अपनाती और हमारे प्रशासन के साथ चर्चा नहीं करती, कोल्हापुर से कर्नाटक के लिए एसटी बस सेवाएं निलंबित रहेंगी. परिवहन मंत्री ने आगे कहा- यात्रियों और कर्मचारियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए, MSRTC को कोल्हापुर डिवीजन से कर्नाटक के लिए महाराष्ट्र की एसटी बस सेवाओं को अगले नोटिस तक रद्द करने का निर्देश दिया गया है.
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महाराष्ट्र के घायल ड्राइवर भास्कर जाधव से फोन पर बात की और उन्हें आश्वस्त किया कि वे इस मामले में अकेले नहीं हैं और हमारी सरकार उनके साथ मजबूती से खड़ी है.
अब जानिए हालिया विवाद की पूरी कहानी
कर्नाटक-महाराष्ट्र के बीच ताजा सीमा विवाद शुक्रवार को तब सामने आया जब बेलगावी के मरिहाल में कर्नाटक के एक बस चालक और कंडक्टर को कथित तौर पर मराठी में बात न करने पर पीटा गया. कंडक्टर द्वारा पुलिस में की गई शिकायत के अनुसार, एक लड़की ने मराठी में टिकट मांगा. जब उसने कहा कि उसे मराठी नहीं आती और उसने लड़की से कन्नड़ में बात करने को कहा, तो लड़की तथा उसके पुरुष मित्र ने उस पर हमला कर दिया. मरिहाल में युवकों के एक समूह ने बस को रोका और संवाहक की पिटाई की.
बेलगावी के पुलिस आयुक्त यदा मार्टिन मारबानियांग ने बताया कि पुलिस ने हमला करने के आरोप में चार लोगों को गिरफ्तार किया है और लड़की की शिकायत पर संवाहक के खिलाफ भी नाबालिग लड़की से ‘अभद्र व्यवहार' करने के आरोप में मामला दर्ज किया गया है.
मरिहाल की घटना के खिलाफ चित्रदुर्ग में महाराष्ट्र के ड्राइवर की पिटाई
मरिहाल की घटना के खिलाफ कुछ बदमाशों ने शनिवार को कर्नाटक के चित्रदुर्ग जिले के हिरियूर तालुक के गुइलल में महाराष्ट्र राज्य सड़क परिवहन निगम (एमएसआरटीसी) के बस चालक भास्कर जाधव पर हमला कर दिया और उसका चेहरा काला कर दिया. पुलिस ने कथित तौर पर अपराध में शामिल कुछ लोगों को गिरफ्तार किया है.
#WATCH | Karnataka: A KSRTC bus conductor beaten up allegedly for not speaking in Marathi, in Belagavi
— ANI (@ANI) February 22, 2025
Mahadev Hukkeri, KSRTC conductor, says, " ...A woman and a man were sitting in the bus, majority of the passengers in the bus were women, I was distributing tickets, in… pic.twitter.com/YB2pAMVkIM
घटना के बाद, महाराष्ट्र के परिवहन मंत्री प्रताप सरनाईक ने कर्नाटक जाने वाली राज्य परिवहन बसों की सेवा रोकने का शनिवार को आदेश दिया. सरनाईक ने कहा कि महाराष्ट्र राज्य सड़क परिवहन निगम (एमएसआरटीसी) की बेंगलुरु से मुंबई आ रही बस पर शुक्रवार रात कर्नाटक के चित्रदुर्ग में कन्नड़ समर्थक कार्यकर्ताओं ने हमला किया.
रविवार को कर्नाटक की बस पर जय महाराष्ट्र के नारे
मरिहाल और चित्रदुर्ग की घटना के बाद रविवार को कर्नाटक राज्य सड़क परिवहन निगम (KSRTC) की एक ‘अल्ट्रा लग्जरी' बस पर ‘जय महाराष्ट्र', ‘मराठी' और ‘महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना' जैसे नारे लिखकर उसे विकृत कर दिया गया. इस घटना के बाद केएसआरटीसी ने भी महाराष्ट्र के लिए बस सेवाओं को कम कर दिया है.
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कर्नाटक की बस पर जय महाष्ट्र के नारे.
उत्तर पश्चिम कर्नाटक सड़क परिवहन निगम के वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, ‘‘हमने महाराष्ट्र जाने वाली बसों की संख्या फिलहाल सीमित कर दी है और स्थिति को सामान्य करने के लिए सभी एहतियात बरत रहे हैं.'' उन्होंने कहा कि दोनों राज्यों के बीच सुचारू बस सेवा सुनिश्चित करने के लिए वह महाराष्ट्र के अपने समकक्ष के संपर्क में हैं.
महाराष्ट्र-कर्नाटक सीमा विवाद की पुरानी कहानी
महाराष्ट्र और कर्नाटक दो पड़ोसी राज्य हैं. दोनों राज्यों की कई जिलों की सीमाएं एक-दूसरे से मिलती हैं. लेकिन इन दोनों राज्यों के बीच में लंबे समय से सीमा विवाद है. यह विवाद सबसे ज्यादा बेलगावी जिले में देखने को मिलता है. कर्नाटक के बेलगावी जिले में मराठी भाषी आबादी काफी है.
1956 में बेलगावी कर्नाटक में हुआ शामिल
उनमें से एक वर्ग जिले का महाराष्ट्र में विलय करने की मांग कर रहा है, जिसका राज्य सरकार के साथ-साथ वहां रहने वाली कन्नड़ भाषी जनता भी कड़ा विरोध कर रही है. देश की आजादी के बाद साल 1956 में जब राज्यों का पुनर्गठन किया गया, बेलगावी का क्षेत्र कर्नाटक को मिला. हालांकि पहले ये बॉम्बे में था, जिसे अब महाराष्ट्र कहा जाता है.
मेहर चंद महाजन कमेटी ने खारिज की थी महाराष्ट्र की मांग
जब भाषाई आधार पर क्षेत्रों को राज्य में शामिल किए जाने का विवाद बढ़ा तो केंद्र सरकार ने इसे सुलझाने के लिए सुप्रीम कोर्ट के पूर्व मुख्य न्यायाधीश मेहर चंद महाजन के नेतृत्व में एक आयोग का गठन किया. लेकिन इस कमेटी ने बेलगावी को महाराष्ट्र में शामिल करने की मांग को खारिज कर दिया था. फिलहाल दोनों राज्यों के सीमा विवाद से जुड़ा यह मामला सुप्रीम कोर्ट में लंबित है.
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