प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी रविवार को मध्य प्रदेश के झाबुआ में आदिवासी समुदाय के एक सम्मेलन को संबोधित करेंगे. प्रधानमंत्री इस अवसर पर झाबुआ जिले में 7,300 करोड़ रुपये की विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास भी करेंगे. राज्य में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के मीडिया प्रकोष्ठ के प्रमुख आशीष अग्रवाल ने बताया कि गोपालपुरा में होने वाले सम्मेलन में देश भर से आदिवासी हिस्सा लेंगे.
आगामी कुछ महीनों में होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले इस साल राज्य में मोदी की यह पहली यात्रा होगी. देशभर के राज्यों में से आदिवासियों के लिए सबसे अधिक लोकसभा सीट मध्य प्रदेश में आरक्षित हैं. मध्य प्रदेश में आदिवासियों के लिए छह सीट आरक्षित हैं.
एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कहा गया है कि अपनी यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री राज्य की आहार अनुदान योजना के तहत लगभग दो लाख महिला लाभार्थियों को मासिक किस्त भी देंगे. योजना के तहत विशेष रूप से पिछड़ी जनजातियों की महिलाओं को पौष्टिक भोजन देने के लिए 1,500 रुपये प्रति माह प्रदान किए जाते हैं. प्रधानमंत्री स्वामित्व योजना के तहत 1.75 लाख 'अधिकार अभिलेख' (भूमि अधिकारों का रिकॉर्ड) भी वितरित करेंगे.
आधिकारिक बयान में कहा गया है कि वह टंट्या मामा भील विश्वविद्यालय की आधारशिला रखेंगे जो राज्य के आदिवासी बहुल जिलों के युवाओं के लिए लाभकारी होगा. कुल 170 करोड़ रुपये की लागत से विकसित होने वाला यह विश्वविद्यालय छात्रों के समग्र विकास के लिए विश्व स्तरीय बुनियादी ढांचा प्रदान करेगा.
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