- उन्नाव रेप केस में दोषी कुलदीप सेंगर को दिल्ली हाईकोर्ट से मिली जमानत पर सुप्रीम कोर्ट ने फिलहाल रोक लगा दी है
- डॉक्टर इश्तिा सेंगर ने सोशल मीडिया पर खुली चिट्ठी लिखकर परिवार की थकान और न्याय के लिए आशा व्यक्त की है
- ऐश्वर्या सेंगर ने अपने पिता की निर्दोषता का दावा करते हुए पीड़िता के बयानों और आरोपों को खारिज किया है
देश में इन दिनों उन्नाव रेप केस की चर्चा फिर से जोरों पर है. पीड़िता को न्याय दिलाने की मांग सड़कों से लेकर सोशल मीडिया तक तेज हो गई है. दोषी कुलदीप सेंगर को दिल्ली हाईकोर्ट की तरफ से मिली जमानत के विरोध में सड़क पर भी संग्राम मचा हुआ है. उधर, हाईकोर्ट के इस फैसले को लेकर सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई और कोर्ट ने फिलहाल सेंगर की जमानत पर रोक लगा दी है. इन सब के बीच दोषी पूर्व विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की बिटिया डॉ. इशिता सेंगर और ऐश्वर्या सेंगर सामने आई हैं और उन्होंने अपने दिल की बात रखी है. डॉक्टर इशिता सेंगर ने सोशल मीडिया पर एक खुली चिट्ठी भी लिखी है.
To
— Dr Ishita Sengar (@IshitaSengar) December 29, 2025
The Hon'ble Authorities of the Republic of India,
I am writing this letter as a daughter who is exhausted, frightened, and slowly losing faith, but still holding on to hope because there is nowhere else left to go.
For eight years, my family and I have waited. Quietly.…
इस चिट्ठी में उन्होंने कहा कि मैं यह पत्र एक ऐसी बेटी के रूप में लिख रही हूं जो थकी हुई है,डरी हुई है और धीरे-धीरे विश्वास खो रही है, लेकिन फिर भी आशा पर कायम है क्योंकि जाने के लिए और कहीं नहीं बचा है.आठ साल तक मैंने और मेरे परिवार ने इंतजार किया है. चुपचाप. धैर्यपूर्वक. यह विश्वास करते हुए कि यदि हमने सब कुछ "सही तरीके से" किया, तो अंततः सत्य स्वयं ही बोलेगा. हमने कानून पर भरोसा किया.हमने संविधान पर भरोसा किया.हमने भरोसा किया कि इस देश में न्याय शोर,हैशटैग या जनता के गुस्से पर निर्भर नहीं है.
वहीं, ऐश्वर्या सेंगर ने न्यूज एजेंसी IANS से खास बातचीत में कहा कि उनके पिता निर्दोष हैं और उन्होंने कुछ भी गलत नहीं किया.ऐश्वर्या ने कहा कि अगर मेरे पिता ने आंख उठाकर भी देखा हो तो उन्हें फांसी की सजा देनी चाहिए. आठ साल से न्यायपालिका पर पूरा विश्वास है. हम सारे सबूत लेकर घूम रहे हैं. कोई सबूत दिखा दे कि मेरे पिता ने आंख उठाकर भी देखा है, तो फांसी की सजा दीजिए. इस केस के फैक्ट्स को लगातार इग्नोर किया जा रहा है. उन्होंने दावा किया है कि पीड़िता ने घटना के समय को बार-बार बदला है. सीबीआई ने सीडीआर भी निकाला है, जिसमें साबित होता है कि मेरे पिता घटनास्थल पर नहीं थे. सारे सबूत और डॉक्यूमेंट्स मौजूद हैं.
Delhi: Daughter of former UP BJP MLA Kuldeep Singh Sengar, Aishwarya Sengar says, We have had full faith in the judiciary for the past eight years, but during this time we have been gathering all the evidence. I want to say to everyone through you; if anyone can show even a… pic.twitter.com/HslDopnNHd
— IANS (@ians_india) December 29, 2025
उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया पर एक अलग जंग छिड़ी हुई है. सभी पीड़िता का पक्ष देख रहे हैं, लेकिन हमारा पक्ष कोई नहीं देख रहा है कि हमें किन-किन चीजों से जूझना पड़ रहा है. सोशल मीडिया से लेकर सड़क तक हमें बुरा बताया जा रहा है. मेरे पिता को पावरफुल बताया जा रहा है, जबकि उन्हें पार्टी से निकाला जा चुका है. हमारे परिवार के साथ क्या हो रहा है, आज हमें कितना कुछ सुनना पड़ रहा है. यह हम ही जानते हैं. मैं वकील के तौर पर इस केस में सीनियर वकीलों की मदद कर रही हूं.
ऐश्वर्या ने हाईकोर्ट के फैसले पर कहा कि बीते आठ साल में एक ऐसा पल आया था, जब हमें राहत मिली. हाईकोर्ट ने कानूनी बिंदुओं पर फैसला दिया था, वहां भी सारे बिंदुओं पर चर्चा हुई. हमें कोर्ट पर भरोसा है. उन्होंने अपील की है कि सिर्फ लोगों की भावनाएं एक पक्ष की ओर क्यों हैं.उन्होंने पीड़िता के उस बयान का खंडन किया, जिसमें दावा किया जा रहा है कि कुलदीप सेंगर के परिवार से जान को खतरा है.ऐश्वर्या सेंगर ने कहा कि वह (पीड़िता) सिर्फ कहानियां बना रही हैं, जबकि वह सीआरपीएफ की सुरक्षा में हैं. वे नहीं चाहते कि मेरे पिता वापस आएं, लेकिन हम कभी उन्हें नुकसान नहीं पहुंचाएंगे. सोशल मीडिया पर मैंने पढ़ा है कि हमने एक्सीडेंट कराया. जबकि, जांच रिपोर्ट में साफ था कि वह सिर्फ नेचुरल एक्सीडेंट था. किसी भी गवाह की मौत नहीं हुई है. यह सिर्फ एक इंसान की कही बातें हैं.
ऐश्वर्या ने कहा कि मैं बिल्कुल मानती हूं कि मेरे पिता को भाजपा में होने का खामियाजा भुगतना पड़ा. हम लोग सामान्य हैं. पीड़िता के परिवार के लोग भी पावरफुल हैं. हम लोग एक गांव से हैं. उनके चाचा हिस्ट्रीशीटर हैं, जो 2010 में मेरे चाचा पर जानलेवा हमला कर फरार हो गए थे. 16 साल बाद लौटकर आए और प्रधानी के चुनाव को लेकर अनबन शुरू हुई. बदला लेने के लिए यह सब किया गया. अगर मेरे पिता राजनीति में नहीं होते तो बहुत पहले न्याय मिल गया होता.
उन्होंने आगे कहा कि मेरे पास कुछ सबूत भी हैं, जिनके आधार पर हम अपनी बात को पुख्ता तौर पर रख सकते हैं. हमारी ओर से कुछ भी गलत नहीं किया गया. जब इस मामले में जांच शुरू हुई तो मेरे पिता ने नार्को टेस्ट की मांग की थी, लेकिन पीड़िता पक्ष ने मना कर दिया. सीडीआर और फोटो मौजूद हैं, जो साबित करते हैं कि मेरे पिता घटनास्थल पर नहीं थे. पीड़िता पक्ष की ओर से सिर्फ कहानियां बनाई जा रही हैं.
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