तेलंगाना के मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव ने शुक्रवार को कहा कि 2024 के लोकसभा चुनावों के बाद उनकी पार्टी भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) केंद्र में सरकार बनाएगी. राव ने कहा कि उनकी पार्टी के सत्ता में आने पर पूरे देश में दलित बंधु योजना लागू की जाएगी.
वर्ष 2021 में शुरू की गई ‘दलित बंधु योजना' में अनुसूचित जाति के परिवारों को व्यवसाय शुरू करने के लिए 100 प्रतिशत अनुदान के रूप में 10 लाख रुपये प्रदान किए जाते हैं. प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण योजना के तहत दिए गए अनुदान को चुकाने की जरूरत नहीं होती.
राव ने यहां बी.आर. आंबेडकर की 125 फुट ऊंची प्रतिमा का अनावरण करने के बाद जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि बीआरएस को महाराष्ट्र में जबरदस्त प्रतिक्रिया मिल रही है और वह पश्चिम बंगाल, बिहार तथा उत्तर प्रदेश से भी इसी तरह की प्रतिक्रिया की उम्मीद कर रही है. उन्होंने कहा, “मैं आपको कुछ बातें बताना चाहता हूं. वर्ष 2024 के लोकसभा चुनाव में अगली सरकार हमारी, हमारी और हमारी ही बनेगी. हो सकता है कि हमारे कुछ शत्रु इसे हजम न कर पाएं. लेकिन रोशनी के लिए एक चिंगारी ही काफी है.”
राव ने शुक्रवार को संविधान निर्माता आंबेडकर की जयंती पर यहां उनकी एक भव्य प्रतिमा का अनावरण किया. उन्होंने कहा कि संविधान लागू होने के 70 साल बाद भी देश में दलित सबसे गरीब हैं, जो शर्मनाक है. देश में बदलाव की वकालत करते हुए राव ने कहा कि राजनीतिक दल जीतें या हारें, लेकिन देश की जनता की जीत होती रहनी चाहिए.
राव ने कहा कि उनकी सरकार ने दलितों के विकास के लिए पिछले 10 वर्षों के दौरान (इस साल के बजट सहित) 1.25 लाख करोड़ रुपये खर्च किए हैं, जबकि पिछली सरकार ने इतने ही समय में 16,000 करोड़ रुपये खर्च किए थे.
तेलंगाना के मुख्यमंत्री ने कहा कि चालू वित्त वर्ष के दौरान अनुसूचित जातियों के लिए कल्याणकारी योजना को 1.25 लाख परिवारों तक बढ़ाया जाएगा. राव ने कहा कि “केंद्र में हमारी सरकार बनने के बाद देश भर में हर साल 25 लाख दलित परिवारों को दलित बंधु योजना का लाभ प्रदान किया जाएगा.”
आंबेडकर के बारे में बात करते हुए उन्होंने कहा कि भारत के पहले कानून मंत्री आज की राजनीति में भी प्रासंगिक हैं और यह सुनिश्चित करना सभी की जिम्मेदारी है कि समाज में समानता का उनका सपना पूरा हो. राव ने कहा कि आंबेडकर ने जो उपदेश दिया है, उस पर सभी को अमल करने का प्रयास करना चाहिए.
मुख्यमंत्री ने घोषणा की कि बीआरएस सरकार सेवा के क्षेत्र में आंबेडकर के नाम पर लोगों को दिए जाने वाले एक पुरस्कार के लिए 51 करोड़ रुपये का कोष बनाएगी. आंबेडकर के पोते प्रकाश आंबेडकर इस कार्यक्रम में एकमात्र मुख्य अतिथि थे. आंबेडकर की प्रतिमा पर हेलीकॉप्टर से पुष्पवर्षा की गई. करीब 146.50 करोड़ रुपये की लागत से बनी इस प्रतिमा के निर्माण में 360 टन इस्पात और 114 टन कांसे का इस्तेमाल किया गया है.
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