राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के नेता एवं महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख ने रविवार को दावा किया कि उन्हें जेल में ऐसा प्रस्ताव मिला था, जिसे यदि मान लेता तो महा विकास आघाड़ी के नेतृत्व वाली सरकार काफी पहले गिर गई होती. देशमुख धनशोधन मामले में 13 महीने जेल में थे और वह जमानत पर हैं.
देशमुख को नवंबर 2021 में गिरफ्तार किया गया था और उन्हें पिछले साल 28 दिसंबर को जमानत पर रिहा किया गया. देशमुख ने वर्धा के सेवाग्राम में नदी एवं वन संरक्षण के क्षेत्र में काम करने वाली ग्राम सभाओं एवं गैर-सरकारी संगठनों (एनजीओ) के सामूहिक वन अधिकारों के राज्य-स्तरीय सम्मेलन को संबोधित किया.
उन्होंने दावा किया, ‘‘मुझे जेल में प्रस्ताव मिला था, जिसे मैंने खारिज कर दिया. अगर मैं समझौता कर लेता (प्रस्ताव स्वीकार कर लेता) तो महा विकास आघाड़ी के नेतृत्व वाली सरकार ढाई साल पहले ही गिर गई होती, लेकिन मैं न्याय में विश्वास करता हूं, इसलिए मैंने रिहा होने का इंतजार किया.''
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