भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के ‘चंद्रयान-3' अभियान सहित इसके कई अभियानों की उलटी गिनती के लिए अपनी आवाज देने वाली वैज्ञानिक एन. वलारमती का चेन्नई में दिल का दौरा पड़ने के बाद निधन हो गया. एक अधिकारी ने सोमवार को यह जानकारी दी. इसरो के अधिकारी ने बताया कि वलारमती ने चेन्नई के अस्पताल में अंतिम सांस ली. बताया जाता है कि ‘चंद्रयान-3' उनका आखिरी उलटी गिनती कार्यक्रम था.
वलारमती के निधन के बाद तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन और केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर समेत कई अन्य लोगों ने संवेदनाएं प्रकट कीं. अधिकतर लोगों ने कई प्रक्षेपणों के दौरान इसरो के श्रीहरिकोटा अंतरिक्ष केंद्र में मिशन नियंत्रण केंद्र से गूंजती उनकी उलटी गिनती को याद किया. इसरो के पूर्व निदेशक डॉ. पी वी वेंकटकृष्णन ने कहा, ‘‘श्रीहरिकोटा से इसरो के भविष्य के मिशनों की उलटी गिनती के समय अब वलारमती मैडम की आवाज नहीं सुनाई देगी.''
उन्होंने ‘एक्स' (पूर्व में ट्विटर) पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘चंद्रयान 3 उनकी अंतिम उलटी गिनती की घोषणा थी. अप्रत्याशित निधन. बहुत दुख हो रहा है. प्रणाम.'' चंद्रशेखर ने अपने सोशल मीडिया पोस्ट में वलारमती के निधन पर दुख व्यक्त किया. उद्यमिता, कौशल विकास, इलेक्ट्रॉनिक्स और प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री ने कहा, ‘‘चंद्रयान 3 सहित इसरो के कई प्रक्षेपण कार्यक्रम की उलटी गिनती के पीछे उनकी आवाज होती थी. एन. वलारमती जी के निधन के बारे में सुनकर दुख हुआ.''
उन्होंने कहा, ‘‘उनके परिवार और दोस्तों के प्रति मेरी संवेदनाएं. ओम शांति.'' स्टालिन ने कहा कि वलारमती ने 'मिशन रेंज स्पीकर' के रूप में एक चुनौतीपूर्ण कार्य को कुशलतापूर्वक संभाला. स्टालिन ने उनके निधन पर दुख व्यक्त किया.
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