दिल्ली पुलिस (Delhi Police) की आर्थिक अपराध शाखा (EOW) ने हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) के एक कारोबारी को गिरफ्तार किया है, जिस पर एक बैंक से लोन लेकर 30 करोड़ की ठगी का आरोप है. आरोपी पर 4000 करोड़ से ज्यादा की ठगी के अलग-अलग मामले दर्ज हैं.
स्टैंडर्ड चार्टर्ड बैंक की तरफ से बाराखंबा पुलिस थाने में साल 2016 में शिकायत दी गई थी कि इंडियन टेक्नोमेक कंपनी के निदेशक आर के शर्मा और विनय शर्मा ने बैंक से 30 करोड़ का लोन लिया था और बाद में ये पैसा सेल कंपनी के जरिये डायवर्ट कर दिया गया. इसके बाद निदेशक कारोबार बंद कर गायब हो गए. इसके बाद मामले की जांच आर्थिक अपराध शाखा को दी गई.
पुलिस ने जांच में पाया कि जिन 2 कंपनियों के नाम से लोन लिया गया था वो रजिस्ट्रार ऑफ कंपनीज में रजिस्टर्ड नहीं है. कंपनी दिल्ली से हिमाचल प्रदेश के पोंटा साहब सामान पहुचाँने के लिए जिन वाहनों का इस्तेमाल दिखा रही थी वो वाहन भी फ़र्ज़ी निकले. जाँच के बाद आरोपी आर के शर्मा को कांगड़ा से गिरफ्तार कर लिया गया. आर के शर्मा का हिमाचल प्रदेश में पेट्रोल पंप, जनरल स्टोर और आइस क्रीम का कारोबार हैं और उसकी बसें चलती हैं.
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आर्थिक अपराध शाखा के एडिशनल कमिश्नर आर के सिंह के मुताबिक आरोपी की कंपनी के द्वारा 15 बैंकों से 1528 करोड़ की ठगी की गई है, जिसकी जांच सीबीआई कर रही है. इसी तरह आरोपी की एक दूसरी कंपनी के जरिये 9 बैंकों से 555 करोड़ रुपये की ठगी के मामले की जांच भी सीबीआई कर रही है. हिमाचल प्रदेश में 2000 करोड़ की एक्साइज ड्यूटी का फ्रॉड मामले की जांच भी हिमाचल प्रदेश की सीआईडी कर रही है.
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