मिड डे मील खाने के बाद बीमार छात्राओं की तस्वीर।
नई दिल्ली:
सर्वोदय विद्यालय ब्लॉक ए, जहांगीर पुरी में आज 34 बच्चों ने मिड-डे मील खाने के बाद पेट दर्द और उल्टी की शिकायत की। यह बच्चे कक्षा 6 और 7 के हैं। स्कूल में सुबह 9.45 बजे मिड-डे मील आया और 10.30 बजे स्कूल में मिड-डे मील टेस्ट किया गया। स्कूल के 564 बच्चों ने यह भोजन किया। 11.40 बजे कुछ बच्चों ने पेट दर्द की शिकायत की। इसके बाद स्कूल में ही डॉ. अनूप नाथ ने, जो कि स्कूल हेल्थ सेंटर के जिला इंचार्ज हैं, बच्चों का चेकअप किया।
जांच के बाद डॉ. नाथ ने इन बच्चों को बाबू जगजीवन राम मेमोरियल हॉस्पिटल में रेफर किया। इसके बाद बच्चों को हॉस्पिटल ले जाया गया। एजुकेशन ऑफिसर, प्रिंसिपल, कुछ शिक्षक और डिप्टी डायरेक्टर अस्पताल में मौजूद रहे। बताया जाता है कि शाम 4.45 तक 25 बच्चों को इलाज के बाद छुट्टी दे दी गई है। बाकी 9 बच्चों को ऑब्जर्वेशन के लिए रोके रखा गया।
स्कूल में आठ कंटेनर में मिड-डे मील आया था, जिसमें दाल और चावल था। मिड डे मील के सैंपल को एफआईसीसीआई रिसर्च एंड एनालिसिस सेंटर सेक्टर 8 द्वारका भेज दिया गया है। यह सैंपल एसएचओ महिंदर पार्क, जहांगीरपुरी को भी उपलब्ध कराया गया है।
सरकार कराएगी जांच
डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने कहा है कि जहांगीरपुरी के इस स्कूल में जिस कैंटीन से मिड-डे मील आता है, वहां अगले पांच दिन तक के सैंपल की जांच करने के निर्देश संबंधित क्षेत्र के एसडीएम को दे दिए गए हैं। आज के सैंपल की जांच रिपोर्ट आने के बाद सख्त कार्रवाई करेंगे।
उन्होंने कहा कि मिड डे मील की गुणवत्ता गंभीर चिंता का विषय है। मिड-डे मील तैयार करवाने वालों को चाहिए कि सरकार जितना पैसा इसके लिए दे रही है वे उससे ज्यादा पैसे का इंतजाम करके बच्चों को अच्छा खाना मुहैया कराएं। यह एक समाजसेवा का काम है। कुछ लोगों ने इसे पैसा कमाने का जरिया बना लिया है और लूट मचा रखी है। हम मिड-डे मील के पूरे सिस्टम की जांच करवा रहे हैं। जल्द ही बड़ा बदलाव दिखेगा।
जांच के बाद डॉ. नाथ ने इन बच्चों को बाबू जगजीवन राम मेमोरियल हॉस्पिटल में रेफर किया। इसके बाद बच्चों को हॉस्पिटल ले जाया गया। एजुकेशन ऑफिसर, प्रिंसिपल, कुछ शिक्षक और डिप्टी डायरेक्टर अस्पताल में मौजूद रहे। बताया जाता है कि शाम 4.45 तक 25 बच्चों को इलाज के बाद छुट्टी दे दी गई है। बाकी 9 बच्चों को ऑब्जर्वेशन के लिए रोके रखा गया।
स्कूल में आठ कंटेनर में मिड-डे मील आया था, जिसमें दाल और चावल था। मिड डे मील के सैंपल को एफआईसीसीआई रिसर्च एंड एनालिसिस सेंटर सेक्टर 8 द्वारका भेज दिया गया है। यह सैंपल एसएचओ महिंदर पार्क, जहांगीरपुरी को भी उपलब्ध कराया गया है।
सरकार कराएगी जांच
डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने कहा है कि जहांगीरपुरी के इस स्कूल में जिस कैंटीन से मिड-डे मील आता है, वहां अगले पांच दिन तक के सैंपल की जांच करने के निर्देश संबंधित क्षेत्र के एसडीएम को दे दिए गए हैं। आज के सैंपल की जांच रिपोर्ट आने के बाद सख्त कार्रवाई करेंगे।
उन्होंने कहा कि मिड डे मील की गुणवत्ता गंभीर चिंता का विषय है। मिड-डे मील तैयार करवाने वालों को चाहिए कि सरकार जितना पैसा इसके लिए दे रही है वे उससे ज्यादा पैसे का इंतजाम करके बच्चों को अच्छा खाना मुहैया कराएं। यह एक समाजसेवा का काम है। कुछ लोगों ने इसे पैसा कमाने का जरिया बना लिया है और लूट मचा रखी है। हम मिड-डे मील के पूरे सिस्टम की जांच करवा रहे हैं। जल्द ही बड़ा बदलाव दिखेगा।
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