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This Article is From Jan 06, 2023

ट्रेन में ही अपना पसंदीदा खिलौना भूल गया था बच्चा, फिर सहयात्री सेना जवान ने ऐसे दिलाया वापस

विभूतिभूषण पटनायक को अदनान के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं थी, सिवाय उसके नाम के और कि तीन सदस्यों का यह परिवार सिकंदराबाद से ट्रेन में सवार हुआ था.

ट्रेन में ही अपना पसंदीदा खिलौना भूल गया था बच्चा, फिर सहयात्री सेना जवान ने ऐसे दिलाया वापस
(प्रतीकात्मक तस्वीर)
नई दिल्ली:

कुछ बंधन टूटने के लिए नहीं होते. अपने माता-पिता के साथ रेल में यात्रा कर रहे 19 महीने के बच्चे अदनान और उसके प्रिय खिलौने के इसी रिश्ते को समझते हुए सहयात्री रहे सेना के जवान ने रेलवे की मदद से उससे फिर जा मिलाया. 

दरअसल, अदनान के साथ ट्रेन में सफर कर रहे भारतीय सेना के हवलदार विभूतिभूषण पटनायक ने तीन जनवरी को अपनी पूरी यात्रा के दौरान खिलौने के साथ बच्चे को खेलते हुए और उसके लगाव को महसूस किया था. पटनायक सिकंदराबाद-अगरतला एक्सप्रेस में सवार थे.

जब विभूतिभूषण पटनायक ने देखा कि बच्चा अपने खिलौने को भूल गया है, तो उसने खिलौने को फिर से अदनान के पास भेजने का बीड़ा उठाया, और इसके लिए रेलवे की मदद ली.

विभूतिभूषण पटनायक ने कहा, ‘‘ मैंने उसे पूरी यात्रा के दौरान खिलौने के साथ खेलते देखा. दरअसल, ट्रेन के कुछ तकनीशियनों ने जब उसके साथ खेलते हुए खिलौने को छुपा दिया तो वह जोर-जोर से रोने लगा. जब मैंने देखा कि अदनान अपना खिलौना ट्रेन में ही भूल गया है, तो मैंने कुछ करने के बारे में सोचा. ''

अदनान के परिवार के किशनगंज में उतरने के बाद, पटनायक ने तुरंत रेल हेल्पलाइन - 139 पर संपर्क किया और उन्हें इस उम्मीद में खिलौने के बारे में बताया कि रेलवे की प्रणाली बच्चे की मदद करेगी.

विभूतिभूषण पटनायक ने कहा, ‘‘ आमतौर पर ये हेल्पलाइन आपात स्थितियों के लिए और ऐसे मामलों से निपटने के लिए होती हैं, जहां लोगों ने महत्वपूर्ण सामान खो दिया हो. हालांकि, मैं इसे लेकर आशान्वित था.''

विभूतिभूषण पटनायक को अदनान के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं थी, सिवाय उसके नाम के और कि तीन सदस्यों का यह परिवार सिकंदराबाद से ट्रेन में सवार हुआ था.

हालांकि, रेलवे ने चार जनवरी को ट्रेन की लोकेशन का पता लगाया और बच्चे को खिलौना वापस दे दिया.

अदनान के पिता मोहित रजा ने अपनी खुशी व्यक्त करते हुए कहा, ‘‘ मेरा 19 महीने का बच्चा ट्रेन में अपना पसंदीदा खिलौना भूल गया था, जो उसके दिल के बहुत करीब था. मैंने सोचा था कि कोई भी सिर्फ एक खिलौने के लिए कोई प्रयास नहीं करेगा. इसलिए मैंने कोई शिकायत दर्ज नहीं कराई.''

मोहित रजा ने पटनायक और रेल मंत्री तथा रेल प्रणाली को एक छोटे बच्चे की मदद के लिए अपने संसाधनों का उपयोग करने के लिए धन्यवाद दिया.

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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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