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This Article is From Sep 23, 2023

अरविंद केजरीवाल ने रामलीला, दुर्गा पूजा के दौरान मध्य रात्रि तक लाउडस्पीकर के उपयेाग की अनुमति दी

दिल्ली में लाउडस्पीकर के उपयोग की अनुमति आमतौर पर रात 10 बजे तक होती है. बयान में कहा गया है कि मुख्यमंत्री ने लाउडस्पीकर के उपयेाग में छूट कोविड-19 दिशा-निर्देशों का अनुपालन करने पर जोर देते हुए दी है.

अरविंद केजरीवाल ने रामलीला, दुर्गा पूजा के दौरान मध्य रात्रि तक लाउडस्पीकर के उपयेाग की अनुमति दी
अरविंद केजरीवाल ने रामलीला और दुर्गा पूजा उत्सवों के दौरान मध्य रात्रि तक लाउडस्पीकर का उपयोग करने की विशेष छूट दी है.
नई दिल्ली:

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने रामलीला और दुर्गा पूजा उत्सवों के दौरान मध्य रात्रि तक लाउडस्पीकर का उपयोग करने की विशेष छूट दी है. मुख्यमंत्री कार्यालय (सीएमओ) ने शुक्रवार को एक बयान में यह जानकारी दी. बयान में कहा गया है कि उत्सवों के दौरान लाउडस्पीकर का उपयोग मध्यरात्रि तक करने की अनुमति देने से संबंधित मुख्यमंत्री की फाइल मंजूरी के लिए उपराज्यपाल वी.के. सक्सेना को भेजी गई है.

इसमें कहा गया है कि रामलीला आयोजकों को यह सुनिश्चित करने के लिए पुलिस से अवश्य ही अनुमति लेनी होगी कि लाउडस्पीकर का उपयोग आवासीय इलाकों में ध्वनि के स्तर से जुड़े नियमों का उल्लंघन नहीं करेगा. लव कुश रामलीला कमेटी के पदाधिकारियों के एक प्रतिनिधिमंडल से केजरीवाल के मुलाकात करने के एक दिन बाद यह कदम उठाया गया. बैठक में केजरीवाल से रामलीला समितियों ने लाउडस्पीकर के उपयोग की समय सीमा बढ़ाने का अनुरोध किया था.

मुख्यमंत्री कार्यालय ने एक बयान में कहा, ‘‘देर रात तक रामलीला के आयोजन के दौरान लाउडस्पीकर के उपयोग की अनुमति होगी. लाउडस्पीकर के उपयोग पर रात 10 बजे के बाद पाबंदी लगाने से संबंधित दिल्ली आपदा प्रबंध प्राधिकरण का पूर्ववर्ती निर्देश अगले आदेश तक स्थगित रहेगा.'' बयान में कहा गया है कि मुख्यमंत्री रामलीला, दुर्गा पूजा और दशहरा जैसे धार्मिक उत्सव भव्य तरीके से एवं सुविधा के साथ मनाया जाना सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं. दिल्ली में लाउडस्पीकर के उपयोग की अनुमति आमतौर पर रात 10 बजे तक होती है. बयान में कहा गया है कि मुख्यमंत्री ने लाउडस्पीकर के उपयेाग में छूट कोविड-19 दिशा-निर्देशों का अनुपालन करने पर जोर देते हुए दी है.

हिमाचल को 10 करोड़ रुपये देने की मंजूरी
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने हिमाचल प्रदेश सरकार के आपदा राहत कोष में 10 करोड़ रुपये का योगदान देने को मंजूरी दी है, ताकि हाल ही में इस पर्वतीय राज्य में भारी बारिश के कारण आई आपदा के बाद पुनर्वास और राहत पहुंचाने संबंधी राज्य सरकार के प्रयासों में सहायता की जा सके. अधिकारियों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी. इस संबंध में फाइल अब मंजूरी के लिए दिल्ली के उपराज्यपाल वी के सक्सेना के पास भेजी जाएगी. दस करोड़ रुपये का दान मुख्यमंत्री राहत कोष से दिया गया है.

एक सरकरी अधिकारी ने कहा, ‘‘मुख्यमंत्री केजरीवाल के निर्देश पर दिल्ली सरकार हिमाचल प्रदेश सरकार के आपदा राहत कोष-2023 में 10 करोड़ रुपये का योगदान देगी. इस योगदान का उद्देश्य हाल ही में आई विनाशकारी बाढ़ से उबरने के प्रयासों में राज्य की सहायता करना है.'' यह योगदान हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू द्वारा दिल्ली के मुख्यमंत्री को लिखे गए एक पत्र के जवाब में दिया जाएगा.

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