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This Article is From Jan 25, 2021

अर्नब बातचीत : रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क ने कांग्रेस पर ‘झूठे प्रचार’ का आरोप लगाया

कांग्रेस ने भी शुक्रवार को मांग की थी कि गोस्वामी की कथित व्हाट्सएप बातचीत की जांच संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) से कराई जाए जिससे राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरा और सरकारी गोपनीयता कानून का उल्लंघन हुआ है.

अर्नब बातचीत : रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क ने कांग्रेस पर ‘झूठे प्रचार’ का आरोप लगाया
रिपब्लिक मीडिया समूह के संस्थापक और प्रधान संपादक अर्नब गोस्वामी (फाइल फोटो)
नई दिल्ली:

रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क (Republic Media Network) ने रविवार को इन आरोपों के लिए कांग्रेस (Congress) पर पलटवार किया कि अर्नब गोस्वामी (Arnab Goswami) के कथित व्हाट्सएप बातचीत से राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरा (Threat to national security) पैदा हुआ और सरकारी गोपनीयता कानून का उल्लंघन किया गया. साथ ही नेटवर्क ने दावा किया कि पार्टी ‘‘झूठ'' फैला रही है. रिपब्लिक मीडिया समूह (Republic Media Group) ने एक बयान में प्रतिद्वंद्वी टीवी चैनल ‘टाइम्स नाऊ' (Times Now) पर टीआरपी में छेड़छाड़ (TRP tampering) करने, तथ्यों को दबाने और कथित टीआरपी घोटाले (TRP scam) में लोगों को गुमराह करने के आरोप लगाए.

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‘टाइम्स नाऊ' का संचालन करने वाले टाइम्स नेटवर्क ने एक बयान जारी कर कहा था कि वह ब्रॉडकास्ट आडिएंस रिसर्च काउंसिल (BARC) द्वारा रिपब्लिक टीवी के पक्ष में बड़े पैमाने पर टीआरपी से छेड़छाड़ की शिकायतों पर कार्रवाई करने में अस्वीकार्य और माफ नहीं किए जाने योग्य विफलता के लिए ‘‘सभी संभावित कानूनी कार्रवाइयों'' पर विचार कर रहा है. इसके बाद रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क ने ये आरोप लगाए हैं. कांग्रेस ने भी शुक्रवार को मांग की थी कि गोस्वामी की कथित व्हाट्सएप बातचीत की जांच संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) से कराई जाए जिससे राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरा और सरकारी गोपनीयता कानून का उल्लंघन हुआ है. साथ ही पार्टी ने मांग की थी इसमें शामिल लोगों पर मामले दर्ज किए जाएं.
रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क ने एक बयान जारी कर कहा कि प्रधान संपादक गोस्वामी को निशाना बनाने के लिए कॉरपोरेट और राजनीतिक हितों के बीच साठगांठ है.

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बयान में कहा गया है कि कथित व्हाट्सएप बातचीत की वैधता, सच्चाई और वास्तविकता के बारे में अदालत में परख होनी है लेकिन एक क्षण के लिए उसे दरकिनार भी रखें तो एक भी लाइन ऐसी नहीं है जिससे यह साबित हो सके कि रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क ने किसी तरह की कोई गलती की या टीआरपी से छेड़छाड़ की. रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क ने भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग से अपील की कि मीडिया जगत में ‘‘साठगांठ और कार्टेलाइजेशन'' की जांच करे. इसने कहा, ‘‘कांग्रेस अपनी अंदरूनी लड़ाई से ही निजात नहीं पा रही है और वह हमारे खिलाफ झूठ का प्रचार कर रही है. हम पर सरकारी गोपनीयता लीक करने के आरोप लगा रही है जबकि सच्चाई यह है कि हवाई हमले को लेकर सार्वजनिक तौर पर काफी चर्चा हुई, और हवाई हमला होने से पहले यह चर्चा आम थी.''

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पिछले हफ्ते कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा था कि एक पत्रकार को सरकारी गोपनीय सूचना मुहैया कराना ‘‘आपराधिक कृत्य'' है और सूचना देने एवं लेने वाले दोनों को जेल जाना होगा. वह इन आरोपों का जिक्र कर रहे थे कि कथित बातचीत से पता चलता है कि गोस्वामी को बालाकोट हवाई हमले से पहले ही इस बारे में जानकारी थी.

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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)

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