मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव ने एक सप्ताह तक चलने वाले इस अभियान को 'गुलाबी कुली दिनालु' (पिंक लेबरर डेज़) शीर्षक दिया है...
हैदराबाद:
देश में संभवतः पहली बार किसी राज्य का मुख्यमंत्री अब कुली बनने जा रहा है... जी हां, यह सच है, क्योंकि तेलंगाना के मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव (जिन्हें आमतौर पर केसीआर के नाम से पुकारा जाता है) ने फैसला किया है कि शुक्रवार से ही वह स्वयं और उनके सभी मंत्री, विधायक, उनकी पार्टी तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) के नेता तथा कार्यकर्ता दो-दो दिन कुली के रूप में काम करेंगे... सो, राज्य का 'कुली नंबर 1' बनने जा रहे केसीआर शुक्रवार और शनिवार को दिहाड़ी मज़दूरी के बदले कुली के रूप में आम जनता को उपलब्ध रहेंगे...
गौरतलब है कि इस शारीरिक श्रम के ज़रिये जो रकम ये सभी नेता कमाएंगे, उसी का इस्तेमाल टीआरएस के वार्षिक सम्मेलन का आयोजन करने के लिए किया जाएगा... सम्मेलन अगले सप्ताह शुक्रवार, 21 अप्रैल को होना है, जिसके तहत कई स्थानों पर नेता-कार्यकर्ता एकत्र होंगे, तथा अंत में तेलंगाना का सबसे खास इलाका कहे जाने वाले वारंगल में विशाल जनसभा आयोजित की जाएगी...
माना जा रहा है कि दो दिन तक इस तरह मज़दूरी (इसमें खेतिहर मज़दूरी भी शामिल है) करने से टीआरएस के नेता इतनी रकम एकत्र कर लेंगे, ताकि वे पार्टी सम्मेलन में भाग लेने के लिए आने-जाने और भोजन का खर्च वहन कर सकें...
मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव ने एक सप्ताह तक चलने वाले इस अभियान को 'गुलाबी कुली दिनालु' (पिंक लेबरर डेज़) शीर्षक दिया है, क्योंकि टीआरएस का रंग गुलाबी ही है... उन्होंने यह नहीं बताया कि वह किस तरह की मज़दूरी करेंगे, लेकिन उन्होंने कहा कि वह उदाहरण बनकर अपने साथियों का नेतृत्व करेंगे...
केसीआर ने यह घोषणा भी की कि पार्टी में सदस्य संख्या बढ़ाने की हालिया कोशिश खासी कामयाब रही है, और अब पार्टी के सदस्यों की संख्या 75 लाख से भी ज़्यादा है, जबकि वर्ष 2014 में सत्तारूढ़ होते वक्त पार्टी के 52 लाख सदस्य थे... मुख्यमंत्री ने बताया कि सदस्यता राशि के रूप में लगभग 35 करोड़ रुपये एकत्र हुए हैं, और वे पार्टी के बैंक खाते में जा रहे हैं...
गौरतलब है कि इस शारीरिक श्रम के ज़रिये जो रकम ये सभी नेता कमाएंगे, उसी का इस्तेमाल टीआरएस के वार्षिक सम्मेलन का आयोजन करने के लिए किया जाएगा... सम्मेलन अगले सप्ताह शुक्रवार, 21 अप्रैल को होना है, जिसके तहत कई स्थानों पर नेता-कार्यकर्ता एकत्र होंगे, तथा अंत में तेलंगाना का सबसे खास इलाका कहे जाने वाले वारंगल में विशाल जनसभा आयोजित की जाएगी...
माना जा रहा है कि दो दिन तक इस तरह मज़दूरी (इसमें खेतिहर मज़दूरी भी शामिल है) करने से टीआरएस के नेता इतनी रकम एकत्र कर लेंगे, ताकि वे पार्टी सम्मेलन में भाग लेने के लिए आने-जाने और भोजन का खर्च वहन कर सकें...
मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव ने एक सप्ताह तक चलने वाले इस अभियान को 'गुलाबी कुली दिनालु' (पिंक लेबरर डेज़) शीर्षक दिया है, क्योंकि टीआरएस का रंग गुलाबी ही है... उन्होंने यह नहीं बताया कि वह किस तरह की मज़दूरी करेंगे, लेकिन उन्होंने कहा कि वह उदाहरण बनकर अपने साथियों का नेतृत्व करेंगे...
केसीआर ने यह घोषणा भी की कि पार्टी में सदस्य संख्या बढ़ाने की हालिया कोशिश खासी कामयाब रही है, और अब पार्टी के सदस्यों की संख्या 75 लाख से भी ज़्यादा है, जबकि वर्ष 2014 में सत्तारूढ़ होते वक्त पार्टी के 52 लाख सदस्य थे... मुख्यमंत्री ने बताया कि सदस्यता राशि के रूप में लगभग 35 करोड़ रुपये एकत्र हुए हैं, और वे पार्टी के बैंक खाते में जा रहे हैं...
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