रालेगन सिद्धि (महाराष्ट्र):
जम्मू-कश्मीर में दो जवानों की हत्या की खबरों से आहत सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने गुरुवार को पाकिस्तान को 1965 के जैसा सबक सिखाने की मांग की।
रालेगन सिद्धि में हजारे ने कहा, "उन्होंने जो कुछ किया है वह कतई मंजूर नहीं। किस तरह उन्होंने हमारे सैनिकों की हत्या कर दी और उनका सिर लेकर चलते बने? इसे कोई भी व्यक्ति बर्दाश्त नहीं करेगा।"
हजारे ने कहा, "लगता है पाकिस्तान 1965 में भारत के हाथों हुई पराजय को भूल गया है। उन्हें यह याद नहीं कि जब लाहौर पर बमों की वर्षा हुई थी तब वे किस तरह गिड़गिड़ा रहे थे? हमेशा यह देश भारत के खिलाफ सिर उठाता रहता है। हम 1965 को दोहराना चाहते हैं। पाकिस्तान को फिर से वही सबक सिखाया जाए।"
75 साल के हजारे ने सीमा पर जाकर दुश्मनों की फौज से लड़ने की इच्छा जाहिर की। गौरतलब है कि हजारे ने 12 साल तक भारतीय सेना में सेवाएं दी थीं। 1975 में वे ससम्मान सेवामुक्त हुए।
रालेगन सिद्धि में हजारे ने कहा, "उन्होंने जो कुछ किया है वह कतई मंजूर नहीं। किस तरह उन्होंने हमारे सैनिकों की हत्या कर दी और उनका सिर लेकर चलते बने? इसे कोई भी व्यक्ति बर्दाश्त नहीं करेगा।"
हजारे ने कहा, "लगता है पाकिस्तान 1965 में भारत के हाथों हुई पराजय को भूल गया है। उन्हें यह याद नहीं कि जब लाहौर पर बमों की वर्षा हुई थी तब वे किस तरह गिड़गिड़ा रहे थे? हमेशा यह देश भारत के खिलाफ सिर उठाता रहता है। हम 1965 को दोहराना चाहते हैं। पाकिस्तान को फिर से वही सबक सिखाया जाए।"
75 साल के हजारे ने सीमा पर जाकर दुश्मनों की फौज से लड़ने की इच्छा जाहिर की। गौरतलब है कि हजारे ने 12 साल तक भारतीय सेना में सेवाएं दी थीं। 1975 में वे ससम्मान सेवामुक्त हुए।
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