
सुप्रीम कोर्ट की फाइल फोटो
नई दिल्ली:
सुप्रीम कोर्ट ने अंडरवर्ल्ड डॉन बबलू श्रीवास्तव को कड़ी फटकार लगाते हुए कहा है कि अगर देश की सड़कों की हालत ठीक नहीं है तो उसे हत्या की वारदात को विदेश में अंजाम देना चाहिए था। दरअसल बबलू श्रीवास्तव ने अर्जी दाखिल कर कहा था कि उसके तमाम मामलों की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये सुनवाई की जानी चाहिए। उसे यात्रा करने में परेशानी हो रही है। सड़कों की स्थिति ठीक नहीं है।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि याचिकाकर्ता के खिलाफ 7 मर्डर केस और 10 हत्या के प्रयास के केस चल रहे हैं। आप ऐसे में पेशी से छूट की उम्मीद कैसे कर सकते हैं? सुप्रीम कोर्ट का रुख देखते हुए बबलू श्रीवास्तव ने अर्जी वापस लेने की अनुमति मांगी। तब सुप्रीम कोर्ट ने अर्जी वापस लेने की अनुमति देते हुए अर्जी खारिज कर दी।
बबलू श्रीवास्तव की ओर से पेश एडवोकेट ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि बबलू श्रीवास्तव की उम्र ज्यादा हो चुकी है। वह कई सालों से जेल में बंद है। वह फिलहाल यूपी की जेल में बंद है। उसके मामले यूपी के बाहर भी चल रहे हैं। उसे सफर करने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है क्योंकि सड़कें खराब हैं। ऐसे में तमाम मामलों की सुनवाई वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए की जानी चाहिए।
इस पर सुप्रीम कोर्ट ने मौखिक टिप्पणी में कहा कि आपके खिलाफ 7 मर्डर केस और 10 हत्या के प्रयास के केस चल रहे हैं। आपके खिलाफ इतने केस चल रहे हैं और आपको पेशी से छूट चाहिए? अदालत ने कहा कि आपको इसके लिए संबंधित अदालत में याचिका दायर करनी चाहिए। अदालत के रुख को देखते हुए बबलू की ओर से दाखिल अर्जी वापस ले ली गई।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि याचिकाकर्ता के खिलाफ 7 मर्डर केस और 10 हत्या के प्रयास के केस चल रहे हैं। आप ऐसे में पेशी से छूट की उम्मीद कैसे कर सकते हैं? सुप्रीम कोर्ट का रुख देखते हुए बबलू श्रीवास्तव ने अर्जी वापस लेने की अनुमति मांगी। तब सुप्रीम कोर्ट ने अर्जी वापस लेने की अनुमति देते हुए अर्जी खारिज कर दी।
बबलू श्रीवास्तव की ओर से पेश एडवोकेट ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि बबलू श्रीवास्तव की उम्र ज्यादा हो चुकी है। वह कई सालों से जेल में बंद है। वह फिलहाल यूपी की जेल में बंद है। उसके मामले यूपी के बाहर भी चल रहे हैं। उसे सफर करने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है क्योंकि सड़कें खराब हैं। ऐसे में तमाम मामलों की सुनवाई वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए की जानी चाहिए।
इस पर सुप्रीम कोर्ट ने मौखिक टिप्पणी में कहा कि आपके खिलाफ 7 मर्डर केस और 10 हत्या के प्रयास के केस चल रहे हैं। आपके खिलाफ इतने केस चल रहे हैं और आपको पेशी से छूट चाहिए? अदालत ने कहा कि आपको इसके लिए संबंधित अदालत में याचिका दायर करनी चाहिए। अदालत के रुख को देखते हुए बबलू की ओर से दाखिल अर्जी वापस ले ली गई।
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