विज्ञापन
This Article is From Aug 25, 2016

95% लोग अमन चाहते हैं, पत्थरबाजी और कैंपों पर हमला करने से कोई मसला हल न होगा : महबूबा मुफ्ती

95% लोग अमन चाहते हैं, पत्थरबाजी और कैंपों पर हमला करने से कोई मसला हल न होगा : महबूबा मुफ्ती
गृहमंत्री राजनाथ सिंह और सीएम महबूबा मुफ्ती...
नई दिल्ली: जम्मू-कश्मीर के हालात को लेकर गृहमंत्री राजनाथ सिंह और मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने एक साझा प्रेस वार्ता की, जिसमें महबूबा ने कहा कि उम्‍मीद है कि गृहमंत्री के आने के बाद हमारी आबादी का बड़ा हिस्‍सा शांति में आएगा. 95 प्रतिशत लोग अमन चाहते हैं, सिर्फ 5 प्रतिशत लोग ही अमन नहीं चाहते. इन 5 प्रतिशत लोगों से सख्ती से निपटेंगे.

सीएम मुफ्ती ने आगे कहा, 2010 में घाटी में जो हुआ वे हालात अलग थे, आज अगर एक आतंकी (बुरहान वानी) एनकाउंटर में मारा गया और उसके बाद जो हालात पैदा हुए हैं, वे अलग हैं. पथराव और कैंपों पर हमला करने से कोई मसला हल नहीं होगा. मैं भी बातचीत से कश्मीर मसले के हल के पक्ष में हूं.

वहीं गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि राज्‍य में जब से संकट पैदा हुआ है मैं दूसरी बार कश्‍मीर आया हूं. 20 से ज्यादा प्रतिनिधिमंडलों से हमारी बातचीत हुई है. इनमें सभी राजनीतिक दलों के प्रतिनिधि शामिल थे. इन सभी से बातचीत अच्‍छी रही. सभी चाहते हैं कि कश्‍मीर में अमन कायम हो. मैंने भी सभी से सहयोग की अपील की है. 300 के आसपास लोग कल से अब तक मुझसे मिले हैं. घाटी के हालातों को लेकर हम बेहद दुखी हैं. इसलिए कल आते ही मैंने ट्वीट कर कहा था कि जम्हूरियत, कायदों के अंदर जो बात करना चाहते हैं, मैं करूंगा.

राजनाथ ने कहा कि कश्‍मीर में रहने वाले लोगों को भी तकलीफ होती है. क्‍या हम कश्‍मीर को ऐसे हालातों से बाहर नहीं निकाल सकते? सबसे अपील की है कि कश्‍मीर के नौजवानों के भविष्‍य के साथ खिलवाड़ न करें. नौजवानों और बच्‍चों के हाथों में कलम, कंप्‍यूटर होने चाहिए, कौन उन्‍हें पत्‍थर उठाने की इजाजत देते हैं.

उन्होंने कहा कि कश्‍मीर के ऐसे हालात पैदा करने की कोशिश करने वालों को पहचाना जाए. हमारे नौजवान जो पत्‍थर हाथ में उठाते हैं, उन्‍हें समझाने की कोशिश होनी चाहिए. अगर कश्‍मीर का भविष्‍य नहीं बनेगा तो भारत का भविष्‍य भी नहीं बन सकता. मैं समझता हूं कि पहली बार ऐसा हुआ होगा कि कश्‍मीर में ऐसे हालात होने पर देश का कोई गृहमंत्री राज्‍य में दो बार आया. हम सभी पार्टियों के प्रतिनिधमंडल को यहां लाना चाहते हैं, ताकि सभी से बातचीत हो सके.

सिंह ने आगे कहा, पैलेट गन के बारे में एक्‍सपर्ट कमेटी दो महीने में अपनी रिपोर्ट देगी. अगले दो-तीन दिन में कमेटी की रिपेार्ट आ जाएगी और कुछ दिन में हम पैलेट गन का विकल्‍प देंगे. हमने सुरक्षाबलों के जवानों से कहा है कि जितना अधिक हो वे संयम बरतें. मैं यहां के लोगों से भी अपील करूंगा कि वे यह न भूलें कि जब यहां बाढ़ आई थी तो सेना के जवानों ने कैसे भूमिका अदा की थी.

हमारे पीएम ने खुद अपनी वेदना इस बाबत व्‍यक्‍त की है और कश्‍मीर को लेकर वह बराबर मुझसे चर्चा करते रहते हैं. अभी हाल में कुछ दिनों पहले हमने निर्णय लिया है कि सेंट्रल बटालियन में से एक की भर्ती यहां से होगी. सभी कश्‍मीर के बहनों-भाइयों से अपील करना चाहता हूं कि यहां अमन कायम करने में मदद करें.

हुर्रियत के नेताओं के बातचीत को आगे न आने के सवाल पर राजनाथ ने कहा, जम्हूरियत, कश्‍मीरियत के दायरे में हम सभी से बातचीत करने को तैयार हैं. एजेंडा और गठबंधन को लेकर बीजेपी और पीडीपी में सहमति है. हम लोगों की समझ पर संदेह मत कीजिए, कैसे समस्‍या का समाधान होगा हम इसे अच्‍छे से समझते हैं. गृह मंत्रालय एक नोडल अधिकारी तय करने जा रहे हैं कि जो कश्‍मीर के लोगों को देश के किसी भी कोने में दिक्‍कत होगी तो वे एक नंबर पर उनसे संपर्क कर सकते हैं.

NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं

फॉलो करे:
जम्मू-कश्मीर, राजनाथ सिंह, नरेंद्र मोदी, Jammu Kashmir, Rajnath Singh, Narendra Modi, महबूबा मुफ्ती, Mehbooba Mufti