
रेलवे ने 2019-20 में एक करोड़ से ज्यादा यात्री बेटिकट यात्रा करते पकड़े थे और इन यात्रियों पर लगाए गए जुर्माने से रेलवे को 561.73 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ था. सूचना के अधिकार (आरटीआई) के तहत यह जानकारी प्राप्त हुई है. रेलवे ने 2016-2020 के बीच बेटिकट यात्रियों पर लगाए गए जुर्माने से 1,938 करोड़ रुपये की कमाई की। यह 2016 से 38.57 प्रतिशत अधिक है.
मध्य प्रदेश के कार्यकर्ता चंद्र शेखर गौर की ओर से दाखिल आरटीआई के संबंध में यह जानकारी दी गई है. रेलवे ने 2016-17 में बेटिकट यात्रियों से जुर्माने के रूप में 405.30 करोड़ रुपये कमाए. वहीं 2017-18 में रेलवे ने 441.62 करोड़ रुपये ऐसे लोगों से वसूले और वर्ष 2018-19 में 530.06 करोड़ रुपये कमाए.
वर्ष 2019-2020 में एक करोड़ दस लाख यात्री बेटिकट यात्रा करते पकड़े गए. भारतीय रेलवे ने बेटिकट यात्रा करने पर रोक लगाने के लिए नियम बनाए हैं. बेटिकट यात्री को टिकट की लागत के साथ न्यूनतम 250 रुपये का जुर्माना देना होता है. यदि कोई यात्री जुर्माना देने से इनकार करता है, तो उस व्यक्ति को रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ)को सौंप दिया जाता है और उसके खिलाफ रेलवे अधिनियम की धारा 137 के तहत मामला दर्ज किया जाता है.
इसके बाद व्यक्ति को मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया जाता है. मजिस्ट्रेट उस पर एक हजार रुपए तक का जुर्माना लगा सकता है. यदि व्यक्ति अभी भी जुर्माना देने से इनकार करता है तो उसे छह महीने तक की जेल हो सकती है.
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)NDTV.in पर ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें, व देश के कोने-कोने से और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं