
बीकानेर-गुवाहाटी एक्सप्रेस ट्रेन दुर्घटना में 9 लोगों की जान चली गई थी.
पश्चिम बंगाल (West Bengal) में ट्रेन के पटरी से उतरने के चलते घायल शख्स को असम (Assam) में एक मस्जिद के लाउडस्पीकर की मदद से उसके परिवार से मिलाया गया. असम के दारंग जिले के धुला निवासी शफीकुल अली गुरुवार को पड़ोसी राज्य के जलपाईगुड़ी जिले में बीकानेर-गुवाहाटी एक्सप्रेस ट्रेन (Bikaner Guwahati Express Train) दुर्घटना में घायल होने वालों में शामिल थे. इस दुर्घटना में 9 लोगों की जान चली गई थी. दुर्घटना में बाल-बाल बचे अली का जलपाईगुड़ी के सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल में इलाज चल रहा था, जहां रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव (Railway Minister Ashwini Vaishnaw) ने घायलों से मुलाकात की.
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नार्थ ईस्ट फ्रंटियर रेलवे (एनएफआर) के एक अधिकारी ने कहा, "अली की कुशलक्षेम पूछने पर मंत्री को पता चला कि वह अपने परिवार से संपर्क करने में असमर्थ हैं, क्योंकि न तो उसके और न ही उसके परिवार के सदस्यों के पास मोबाइल फोन है."
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अधिकारी ने बताया कि अली ने वैष्णव से कहा कि उसके पास अपने एक पड़ोसी का फोन नंबर है, जिसके बाद वैष्णव ने तुरंत उस व्यक्ति से बात की. हालांकि पड़ोसी को घर पर अली का परिवार नहीं मिला और न ही अन्य कोई उनका पता लगा सका.
अधिकारी ने कहा कि परिवार से संपर्क करने के प्रयास विफल होने के बाद गांव की मस्जिद से नमाज के लिए इस्तेमाल होने वाले लाउडस्पीकर के जरिए घोषणा की गई. इसके बाद परिवार ने अली की हालत के बारे में जाना और रेलवे अधिकारियों से संपर्क किया.
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जलपाईगुड़ी जिले में गुरुवार को ट्रेन के 12 डिब्बे पटरी से उतर गए थे, जिसमें कम से कम नौ लोगों की मौत हो गई और 36 अन्य घायल हो गए.
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