कोरोना टीकों को लेकर राजनीति नहीं की जानी चाहिए: अमित शाह

उन्होंने कहा, ‘‘कुछ लोग हैं जो टीकों पर गलत सूचना फैला रहे हैं. आप लोगों के स्वास्थ्य को लेकर संदेह क्यों पैदा कर रहे हैं और राजनीति क्यों कर रहे हैं?’’

कोरोना टीकों को लेकर राजनीति नहीं की जानी चाहिए: अमित शाह

केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह (फाइल फोटो)

गुवाहाटी:

केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Home Minister Amit Shah) ने कोविड-19 टीकों (Covid-19 Vaccines) की प्रभावशीलता पर सवाल उठाने वाले लोगों पर निशाना साधते हुए शनिवार को कहा कि लोगों के स्वास्थ्य को लेकर राजनीति नहीं की जानी चाहिए. सरकार के स्वास्थ्य देखभाल कार्यक्रम के लाभ का दायरा केन्द्रीय सशस्त्र पुलिस बलों तक बढ़ाये जाने के संबंध में आयोजित एक कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि भारतीय वैज्ञानिकों द्वारा विकसित टीके पूरी तरह से सुरक्षित हैं. उन्होंने कहा, ‘‘कुछ लोग हैं जो टीकों पर गलत सूचना फैला रहे हैं. आप लोगों के स्वास्थ्य को लेकर संदेह क्यों पैदा कर रहे हैं और राजनीति क्यों कर रहे हैं?''

शाह ने कहा, ‘‘मैं आप सभी से अपील करता हूं कि जब आपकी बारी आएगी तो टीका लगवाने के लिए जाएं. इसकी प्रभावकारिता पर कोई संदेह नहीं है. हमने पहले ही दुनिया का सबसे बड़ा टीकाकरण अभियान शुरू किया है.'' शाह ने यहां सात केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (सीएपीएफ) के कुछ कर्मियों के बीच ‘आयुष्मान सीएपीएफ' स्वास्थ्य कार्ड का औपचारिक रूप से वितरण किया. उन्होंने कहा कि सीएपीएफ की तीन प्रमुख चिंताएं थीं - मौजूदा स्वास्थ्य कवरेज व्यापक नहीं था, वहां आवासों की संतुष्टि नहीं थीं और समय पर भर्ती नहीं होने के कारण बिना छुट्टियों के डयूटी के लंबे घंटे.

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शाह ने कहा, ‘‘हमारी सरकार तीनों चिंताओं पर काम कर रही है. स्वास्थ्य समस्या के लिए, हमने आज ''आयुष्मान सीएपीएफ'' की शुरूआत की है. इससे लगभग 50 लाख लोगों को स्वास्थ्य बीमा लाभ मिलेगा.'' उन्होंने कहा कि एक मई तक, सात केंद्रीय पुलिस बलों के सभी कर्मियों को स्वास्थ्य कार्ड प्रदान करके ''आयुष्मान सीएपीएफ'' प्रक्रिया पूरी की जाएगी. गृह मंत्री ने कहा, ‘‘हमारा वर्ष 2022 तक केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों के कर्मियों का संतुष्टि अनुपात 55 फीसदी तक बढ़ाने का लक्ष्य है जो कि दो साल पहले 36 फीसदी था, इसे 2024 तक बढ़ाकर 65 फीसदी करना है.''

उन्होंने कहा, ‘‘हम सीएपीएफ में 50,000 कर्मियों की भर्ती प्रक्रिया शुरू करेंगे. पांच वर्षों में सीएपीएफ से विदा होने वाले प्रत्येक कर्मी के स्थान पर भर्ती की जाएगी ताकि प्रत्येक जवान हर साल 100 दिन अपने घर पर बिता सके.'' गुवाहाटी में सीआरपीएफ ग्रुप सेंटर पर राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण (एनएचए) और केन्द्रीय गृह मंत्रालय के बीच एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए गये. इस मौके पर गृह मंत्री शाह, असम के मुख्यमंत्री सर्वानंद सोनोवाल, केन्द्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय और असम के स्वास्थ्य मंत्री हिमंत विश्व सरमा मौजूद थे.

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इस योजना के तहत, सीएपीएफ, असम राइफल्स और राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी) के लगभग 28 लाख कर्मियों और उनके परिवारों को ''आयुष्मान भारत: प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना'' (एबी पीएम-जेएवाई) में शामिल किया जायेगा. सीआरपीएफ के महानिदेशक ए पी माहेश्वरी ने योजना के तहत सीएपीएफ को लाने के लिए उनका आभार व्यक्त किया. गृह मंत्री ने असम के विभिन्न स्थानों पर स्थित सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) के 168 क्वार्टरों, दस बिस्तरों वाले एक अस्पताल और एक प्रशासनिक इमारत का डिजिटल रूप से उद्घाटन भी किया.

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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)