पीएम मोदी को अहसास होगा कि वाजपेयी का रास्ता सही : पाक के पूर्व विदेश मंत्री कसूरी

पीएम मोदी को अहसास होगा कि वाजपेयी का रास्ता सही : पाक के पूर्व विदेश मंत्री कसूरी

किताब के विमोचन के मौके पर कसूरी और सुधींद्र कुलकर्णी

मुंबई:

पाकिस्तान के पूर्व विदेश मंत्री खुर्शीद महमूद कसूरी की पुस्तक के विमोचन पर विवाद के बीच उन्होंने कहा कि वह भारत और पाकिस्तान के बीच शांति को लेकर आशान्वित हैं। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कहा कि वह दोनों देशों के बीच शांति के लिए अटल बिहारी वाजपेयी के प्रयासों को अंजाम तक ले जाएं।

'नीदर ए हॉक, नॉर ए डव : एन इनसाइडर्स अकाउंट ऑफ पाकिस्तान्स फॉरेन पॉलिसी' के लोकार्पण के समय कसूरी ने सोमवार शाम कहा, 'मुझे आशा है कि मोदी को इस बात का अहसास है कि वाजपेयी ने जो मार्ग अपनाया था, वह सर्वश्रेष्ठ मार्ग था।' शिवसेना द्वारा व्यवधान की धमकी के बाद वर्ली के नेहरू केंद्र में पुलिस ने कड़ी निगरानी बनाए रखी। समारोह शाम आठ बजकर 15 मिनट के आसपास खत्म हुआ।

कसूरी ने कहा कि उनकी किताब में दोनों देशों के बीच नौ युद्धों या युद्ध जैसी परिस्थितियों का जिक्र किया गया है। दोनों परमाणु देशों के बीच टकराव के कारण आर्थिक नुकसान पर कसूरी ने कहा कि भारत और पाकिस्तान की सेनाएं जब एक बार एक-दूसरे के आमने-सामने थीं और उस समय ब्रिटेन एवं अमेरिका ने अपने नागरिकों को यात्रा परामर्श जारी कर दिया, तो दोनों देशों को अरबों रुपयों का नुकसान हुआ।

नियंत्रण रेखा पर मौजूदा स्थिति के कारण दोनों देशों के सैनिकों और आम लोगों की मौत पर कसूरी ने कहा कि स्थिति पर निगरानी के लिए दोनों पक्षों के प्रख्यात व्यक्तियों का पैनल बनाने से समाधान हो सकता है। उन्होंने कहा कि इसमें जजों और नोबेल पुरस्कार विजेताओं को शामिल किया जा सकता है।

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अपने स्वागत भाषण में ओआरएफ अध्यक्ष सुधींद्र कुलकर्णी ने कहा कि मुंबई एक 'सहिष्णु और उदार शहर' है और भारत और पाकिस्तान के इतिहास में इसकी खास जगह है। कसूरी ने कहा कि उनकी पुस्तक में तथ्य हैं और इस बात पर बल दिया कि अगर वह सोचते कि भारत और पाकिस्तान के बीच शांति का कोई अवसर नहीं है, तो वह पुस्तक नहीं लिखते। बाद में उन्होंने एक परिचर्चा में भाग लिया, जिसमें अभिनेता नसीरुद्दीन शाह, वरिष्ठ पत्रकार दिलीप पडगांवकर ने भी भाग लिया।