नई दिल्ली: कानून की डिग्री हासिल करने में धोखाधड़ी और जालसाजी के आरोपों पर दिल्ली के कानून मंत्री जितेंद्र सिंह तोमर की गिरफ्तारी के बाद विपक्षी दलों ने मंगलवार को आप सरकार को आड़े हाथ लिया और इसे दिल्ली की राजनीति के इतिहास में काला दिन बताया।
दिल्ली बीजेपी के अध्यक्ष सतीश उपाध्याय ने मांग की कि तोमर के खिलाफ कथित रूप से कोई कार्रवाई नहीं करने पर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को इस्तीफा देना चाहिए। उन्होंने कहा कि कानून को अपना काम करना चाहिए और केजरीवाल को तोमर के इस्तीफे को लेकर पहले ही कार्रवाई करनी चाहिए थी।
उपाध्याय ने दिल्ली में संवाददाताओं से कहा, ‘तोमर के खिलाफ जिस तरह के आरोप हैं, उनमें पूरी तरह जांच की गई है। पुलिस किसी मंत्री को गिरफ्तार करने से पहले 10 बार सोचती है। इसलिए पुलिस विश्वविद्यालय और सभी स्थानों पर गई। निश्चित रूप से दिल्ली के राजनीतिक इतिहास में यह काला दिन है।’
तोमर की गिरफ्तारी को लेकर आप के विरोध के बारे में पूछे जाने पर उपाध्याय ने कहा कि केजरीवाल सरकार का अंदाज ऐसा है कि वे जो कहें सही, बाकी गलत। उन्होंने कहा कि जब पुलिस ने तोमर को गिरफ्तार किया तो आप सरकार को सहयोग देना चाहिए। इसमें किसी तरह की बदले की राजनीति नहीं है।
पूर्व केंद्रीय कानून मंत्री और कांग्रेस नेता वीरप्पा मोइली ने तोमर को कानून मंत्री बनाए रखने पर आप पर निशाना साधा। गिरफ्तारी पर पूर्व आप नेता योगेंद्र यादव ने ट्वीट किया, ‘वास्तविक मुद्दा तोमर की गिरफ्तारी के तकनीकी पक्ष का नहीं है। उसका फैसला अदालत को करना है।’
दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अजय माकन ने दिल्ली सरकार पर लोकायुक्त की नियुक्ति नहीं करने का आरोप लगाया। बीजेपी नेता किरण बेदी ने दिल्ली पुलिस की कार्रवाई का समर्थन करते हुए कहा कि पुलिस के पास ठोस सबूत होंगे, अन्यथा कानून मंत्री के साथ ऐसा नहीं किया गया होता।