मुकेश अंबानी से जुड़े मामले में NIA ने सचिन वझे से की पूछताछ,ATS ने भी कसा शिकंजा

महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने लावारिस स्कार्पियो के मालिक मनसुख हिरेन की संदिग्ध मौत के मामले में पुलिस अफसर सचिन वझे (Sachin Vaze) की गिरफ्तारी की मांग की है.

मुकेश अंबानी से जुड़े मामले में NIA ने सचिन वझे से की पूछताछ,ATS ने भी कसा शिकंजा

Sachin Vaze पर मनसुख हिरेन की पत्नी ने भी लगाए हैं गंभीर आरोप

मुंबई:

रिलायंस चेयरमैन मुकेश अंबानी (Mukesh Ambani) के घर के पास मिली विस्फोटक भरी कार और कार के मालिक मनसुख हिरेन (Mansukh Hiren) की मौत के मामले में पुराने जांच अधिकारी सचिन वझे मुसीबत में आ गए हैं. NIA सचिन वझे (Sachin Vaje) से पूछताछ कर रही है. शाम होते होते ATS  की टीम भी NIA दफ़्तर पहुँच गई जिसके बाद मामला और संगीन होता दिखा.

हिरेन की पत्नी ने भी कहा है कि पुलिस अधिकारियों द्वारा उनके पति को प्रताड़ित किया जा रहा था. वझे ने अग्रिम जमानत के लिए अदालत में अर्जी दी थी, लेकिन ठाणे की अदालत ने कहा कि यह हत्या का संवेदनशील मामला है. सचिव वझे शक के दायरे में हैं. इसमें हिरासत में पूछताछ जरूरी हो सकती है. लिहाजा अग्रिम जमानत अभी नहीं दी जा सकती. इस अर्जी पर सुनवाई 19 मार्च को होगी.सचिन वझे महाराष्ट्र के असिस्टेंट पुलिस इंस्पेक्टर हैं. एनआईए ने शनिवार को उन्हें पूछताछ के लिए तलब किया था.

ठाणे की कोर्ट ने कही अहम बात
ठाणे की कोर्ट ने पाया था कि सचिन वझे ने 27 और 28 फरवरी को मनसुख हिरेन के साथ वक्त बिताया था. 3 मार्च को हिरेन लापता हुए और 4 मार्च को उनकी लाश मिली. कोर्ट के मुताबिक, मुंबई एटीएस का रुख भी अग्रिम जमानत के इस मामले में जानना जरूरी है. लिहाजा 19 मार्च को अगली सुनवाई में निर्णय होगा.

सचिन वझे के व्हाट्सएप स्टेटस से सकते में पुलिस
इससे पहले शनिवार सुबह एपीआई सचिन वझे ने अपने व्हाट्सएप स्टेटस पर कुछ ऐसी बातें लिखी थीं, जिससे मुंबई पुलिस का पूरा महकमा सकते में आ गया था. वझ ने लिखा कि मीडिया द्वारा लगातार उनका पीछा करने से वो परेशान हैं, उन्हें राजनीतिक प्रतिशोध के कारण फंसाया जा रहा है. पता चलने पर खुद मुम्बई पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह ने सचिन वझे से बात की और उन्हे समझाया. उन्होंने निराश होकर अपने मन की भावना प्रकट की थी.

एंटीलिया केस की गुत्थी अभी अनसुलझी
बता दें कि मुकेश अंबानी के घर एंटीलिया के सामने 25 फरवरी को जिस कार में विस्फोटक मिला था, उस कार के मनसुख के होने की जानकारी आई थी, हालांकि, बाद में यह डिटेल भी सामने आई थी कि 45 साल के हीरेन मनसुख कार पार्ट्स डीलर थे. वो कार किसी सैम म्यूटेब की थी और उन्होंने उसके इंटीरियर पर काम किया था. हालांकि पैसे नहीं मिलने पर अभी कार लौटाई नहीं थी

Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com

हिरेन का शव 4 मार्च को मिला था
हिरेन का नाम सामने आने के कुछ दिन ही बाद 4 मार्च को उनका शव मिला था. इस मामले में बयान दर्ज किए जाने के दौरान वझे का नाम सामने आया था. हीरेन ने मौत से एक दिन पहले ही खत लिखकर उद्धव ठाकरे को बताया था कि उन्हें पुलिस अधिकारियों और पत्रकारों की ओर से धमकियां मिल रही थीं. वझे का नाम आने के बाद उन्हे इंटेलीजेंस यूनिट से हटाकर नागरिक सेवा केंद्र में ट्रांसफर कर दिया गया है.