पीडीपी नेता महबूबा मुफ्ती (Mehbooba Mufti) ने आरोप लगाया है कि उन्हें घर में नजरबंद किया गया है और कश्मीर में हालात सामान्य होने का दावा झूठा है. जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने कहा कि प्रशासन ने उन्हें घर में नजरबंद करके रखा है. मुफ्ती ने कहा कि भारत सरकार अफगान नागरिकों के अधिकारों को लेकर चिंता जताती है, लेकिन जानबूझकर कश्मीरियों के ऐसे अधिकारों को नजरअंदाज करती है. उन्होंने कहा कि प्रशासन ने यह कहकर उन्हें घर से बाहर निकलने देने की इजाजत नहीं दी है कि घाटी में सब कुछ सामान्य नहीं है. यह हालात सामान्य होने के उनके दावे की पोल खोलता है.
GOI expresses concern for the rights of Afghan people but wilfully denies the same to Kashmiris. Ive been placed under house arrest today because according to admin the situation is far from normal in Kashmir. This exposes their fake claims of normalcy. pic.twitter.com/m6sR9vEj3S
— Mehbooba Mufti (@MehboobaMufti) September 7, 2021
महबूबा मुफ्ती ( Former Jammu and Kashmir Chief Minister Mehbooba Mufti) के आरोप ऐसे वक्त सामने आए हैं, जब कश्मीर घाटी में सुरक्षा हालातों को लेकर तमाम पाबंदियां लगाई गई हैं. सैयद अली शाह गिलानी की बुधवार को मौत के बाद ये पाबंदी लागू की गई हैं.
मुफ्ती ने उनके घर के बंद गेट की एक तस्वीर ट्वीट की, जिसमें उनके घर के पास एक सशस्त्र वाहन खड़ा हुआ दिख रहा है. पुलिस का कहना है कि पीडीपी नेता से अनुरोध किया गया है कि सुराक्षा हालातों को देखते हुए वो आज कुलगाम का दौरा न करें. एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा, मुफ्ती जेड प्लस सुरक्षा प्राप्त हैं, उनकी सुरक्षा के लिए काफी सारे इंतजाम करने पड़ते हैं. लिहाजा उन्हें कुलगाम न जाने को कहा गया है. उन्हें नजरबंद नहीं किया गया है.
मुफ्ती ने ये आरोप तब लगाया है जब जम्मू-कश्मीर पुलिस ने कहा कि अधिकतर प्रतिबंधों में ढील दी जा चुकी है और इलाके में इंटरनेट सेवाएं बहाल कर दी गई हैं. क्योंकि अलगाववादी नेता सैयद अली शाह गिलानी की मौत के बाद कश्मीर में प्रतिबंध लगाए गए थे.
91 साल के सैयद अली शाह गिलानी का बुधवार को निधन हो गया था, जिसके बाद मस्जिदों में किसी भी विरोध और सभा को रोकने के लिए भारी सुरक्षा के बीच श्रीनगर में उनके घर के पास दफनाया गया था. सुरक्षाकर्मियों को संवेदनशील इलाकों में तैनात किया गया था और कई सड़कों पर बैरिकेडिंग की गई थी. जम्मू-कश्मीर पुलिस ने ट्वीट किया है कि इंटरनेट सहित अधिकांश प्रतिबंधों में ढील दी गई है और जम्मू-कश्मीर में स्थिति पूरी तरह सामान्य है, लेकिन करीब से नजर रखी जा रही है.
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