
अफगानिस्तान के मुख्य कार्यकारी अब्दुल्ला अब्दुल्ला भारत की यात्रा पर आए हुए हैं
नई दिल्ली:
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा कि भारत हरसंभव तरीके से अफगानिस्तान का समर्थन करना जारी रखेगा. इस्लामी गणराज्य अफगानिस्तान के मुख्य कार्यकारी अब्दुल्ला अब्दुल्ला का स्वागत करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि भारत उन्हें एक नजदीकी दोस्त मानता है. अब्दुल्ला से मुलाकात में कोविंद ने कहा कि भारत अफगानिस्तान को मात्र एक रणनीतिक साझेदार नहीं बल्कि ऐसा देश समझता है, जो हमारे हृदय के करीब है. लोगों के आपसी संबंधों के जरिए भारत-अफगानिस्तान संबंध बेहद मजबूत हुए हैं.
उन्होंने कहा कि रवींद्रनाथ टैगोर की कहानी ‘काबुलीवाला’ की प्रतिध्वनि प्रत्येक भारतीय के हृदय में सुनी जा सकती है. कोविंद ने कहा कि प्रत्येक भारतीय काबुल से आए किसी भी व्यक्ति पर पूरा भरोसा करता है. राष्ट्रपति ने कहा कि इसी महीने भारत और अफगानिस्तान के बीच एक विकास आधारित साझेदारी की घोषणा हुई है. दोनों ही पक्ष अफगानिस्तान के सामाजिक एवं आर्थिक विकास की परियोजनाओं में सहयोग कर रहे हैं. भारत अफगानिस्तान को हरसंभव मदद जारी रखेगा. कोविंद ने कहा कि भारत-अफगानिस्तान के राष्ट्रीय रक्षा एवं सुरक्षा बलों द्वारा आतंक के खिलाफ लड़ाई में उनके बलिदान के प्रति गहरा सम्मान रखता है.
उन्होंने अब्दुल्ला से कहा, ‘हम अफगानिस्तान में भारतीयों की सुरक्षा के लिए आपके ऋणी हैं. इसमें कोई संशय नहीं कि अफगानिस्तान के लोग लंबे समय से पीड़ित रहे हैं. आतंक के कारण पीढ़ियां बर्बाद हो गई हैं. हम शांति के प्रति उनकी इच्छा से सहानुभूति रखते हैं. अफगानिस्तान के लोग शांति, स्थायित्व और समृद्धि चाहते हैं. हम उनके साथ खड़े हैं.’
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
उन्होंने कहा कि रवींद्रनाथ टैगोर की कहानी ‘काबुलीवाला’ की प्रतिध्वनि प्रत्येक भारतीय के हृदय में सुनी जा सकती है. कोविंद ने कहा कि प्रत्येक भारतीय काबुल से आए किसी भी व्यक्ति पर पूरा भरोसा करता है. राष्ट्रपति ने कहा कि इसी महीने भारत और अफगानिस्तान के बीच एक विकास आधारित साझेदारी की घोषणा हुई है. दोनों ही पक्ष अफगानिस्तान के सामाजिक एवं आर्थिक विकास की परियोजनाओं में सहयोग कर रहे हैं. भारत अफगानिस्तान को हरसंभव मदद जारी रखेगा. कोविंद ने कहा कि भारत-अफगानिस्तान के राष्ट्रीय रक्षा एवं सुरक्षा बलों द्वारा आतंक के खिलाफ लड़ाई में उनके बलिदान के प्रति गहरा सम्मान रखता है.
उन्होंने अब्दुल्ला से कहा, ‘हम अफगानिस्तान में भारतीयों की सुरक्षा के लिए आपके ऋणी हैं. इसमें कोई संशय नहीं कि अफगानिस्तान के लोग लंबे समय से पीड़ित रहे हैं. आतंक के कारण पीढ़ियां बर्बाद हो गई हैं. हम शांति के प्रति उनकी इच्छा से सहानुभूति रखते हैं. अफगानिस्तान के लोग शांति, स्थायित्व और समृद्धि चाहते हैं. हम उनके साथ खड़े हैं.’
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