यह ख़बर 21 जुलाई, 2011 को प्रकाशित हुई थी

येदियुरप्पा के खिलाफ ठोस सबूत हैं : हेगड़े

खास बातें

  • कर्नाटक के लोकायुक्त संतोष हेगड़े ने येदियुरपा पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि खनन घोटाले में मुख्यमंत्री एवं अन्य के खिलाफ ठोस साक्ष्य हैं।
बेंगलुरु:

कर्नाटक के लोकायुक्त संतोष हेगड़े ने राज्य के मुख्यमंत्री बीएस येदियुरपा के खिलाफ गंभीर अभियोग लगाते हुए कहा कि अवैध खनन घोटाले में मुख्यमंत्री एवं अन्य के खिलाफ ठोस साक्ष्य हैं, जिसके कारण से 14 माह की अवधि में राज्य के करदाताओं को 1800 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। हेगड़े के सोमवार को रिपोर्ट सौंपने की संभावना है। उन्होंने खनिज संपदा बहुल बेल्लारी के अवैध खनन से जुड़ी घटनाओं के लिए येदियुरप्पा को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि वहां माफिया जैसी स्थिति है, जिसमें प्रत्येक अधिकारी शामिल है। इस खबर पर त्वरित प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कांग्रेस ने कर्नाटक के मुख्यमंत्री से अवैध खनन घोटाला मामले में लोकायुक्त की रिपोर्ट के मद्देनजर तत्काल इस्तीफा देने की मांग की। पार्टी प्रवक्ता अभिषेक मुन सिंघवी ने कहा कि मुख्यमंत्री के तत्काल इस्तीफे से शुरुआत होनी चाहिए और फिर राज्य सरकार को मामले की सीबीआई से जांच करने की अनुमति देनी चाहिए। केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री अंबिका सोनी ने भी कहा कि कर्नाटक के मुख्यमंत्री येदियुरप्पा को इस्तीफा देना चाहिए। दूसरी ओर, बीजेपी ने कहा है कि जहां तक कर्नाटक लोकायुक्त रिपोर्ट का मामला है, यह रिपोर्ट अभी पेश ही नहीं हुई है। यह 8,000 पन्नों की रिपोर्ट है, जिसको चुनिंदा तरीके से लीक किया गया है। हमें कोई चुनिंदा लीक पर प्रतिक्रिया देने के लिए बाध्य नहीं कर सकता है। लोकायुक्त की रिपोर्ट के बारे में बीजेपी ने कुछ कहने से बचते हुए कहा कि औपचारिक रूप से इसके पेश होने के बाद वह अपनी प्रतिक्रिया देगी। बहरहाल, अवैध खनन को बहुत बड़ा गिरोह करार देते हुए हेगड़े ने कहा कि 14 महीने के समय में, यह 1800 करोड़ रुपये से अधिक का है। यह अवधि मार्च 2009 से मई 2010 के बीच की है। यह राज्य के करदाताओं को नुकसान है। यह राज्य को नुकसान है। लोकायुक्त ने कहा, रिपोर्ट में मुख्यमंत्री, मंत्री और खननकर्मियों के बारे में ठोस सबूत दिए गए हैं। यह सबूत पर्याप्त मात्रा में हैं। यह रिपोर्ट 4000 से 5000 पृष्ठों की है। हेगड़े ने कहा, यह एक बहुत बड़ा गिरोह है। बेल्लारी (खनिज बहुल जिला) में जो कुछ भी हुआ, उसके लिए मुख्यमंत्री ही जिम्मेदार हैं, क्योंकि जिले के प्रभारी मंत्री (जी जर्नादन रेड्डी) एक खनन कंपनी (ओबालपुरम खनन कंपनी) के मालिक हैं और प्रत्येक अधिकारी के इसमें शामिल होने के कारण माफिया जैसी स्थिति पैदा हो गई है। इन्होंने एक नया तंत्र बना दिया है, जिसके जरिए वह सचमुच में अन्य कंपनियों को नुकसान पहुंचा सकते हैं। सुप्रीम कोर्ट के पूर्व न्यायाधीश हेगड़े ने कहा कि रिपोर्ट के लीक होने से कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा, क्योंकि इससे रिपोर्ट की वैधता पर सवाल खड़े नहीं होंगे। इसे सोमवार तक राज्यपाल को सौंपे जाने की उम्मीद थी। कर्नाटक कांग्रेस के अध्यक्ष जी परमेश्वर ने कहा, हम बार-बार कहते आ रहे थे कि अवैध खनन हो रहा है और मुख्यमंत्री और मंत्रिमंडल के उनके सहयोगी इसमें शामिल हैं। उन्होंने कहा, अब रिपोर्ट ही कह रही है कि सरकार खुद इसमें शामिल है। उन्होंने कहा, मुख्यमंत्री को फौरन इस्तीफा देते हुए मंत्रिमंडल को भंग कर देना चाहिए। मुख्यमंत्री को लोगों का सामना करना चाहिए। वहीं, पूर्व मुख्यमंत्री कुमारस्वामी ने किसी भी जांच का सामना करने के लिए तैयार होने का दावा करते हुए कहा, अगर मेरा नाम इसमें है, तो मैं इससे भागने वाला नहीं हूं।


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